ब्रह्माकुमारी बहनों द्वारा ओबरा-चोपन में भाइयों की कलाई में बांधा गया रक्षासूत्र

राजेश पाठक
सोनभद्र। ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय संस्था द्वारा समाज सेवा के प्रतिबद्धता दूसरे दिन रविवार को ऊर्जाचल नगरी ओबरा मे आत्मिक ज्योति को जागृत कर मानव कल्याण की भावना को साकार करने के लिए ब्राह्मकुमारी बहनो द्वारा भाइयो की कलाइयो मे रक्षासूत्र बाँधा गया। मुख्य कार्यक्रम ओबरा के महेंद्रा होटल के निकट ब्रह्मकुमारीज के उपसेवाकेंद्र पर संपन्न हुआ।
ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय सेवाकेंद्र रॉबर्ट्सगंज की मुख्य सेवाकेंद्र प्रभारी ब्रह्माकुमारी सुमन बहन ने सर्वप्रथम रक्षाबंधन के आध्यात्मिक रहस्य पर प्रकाश डालते हुए बताया कि रक्षाबंधन का पर्व मनुष्यत्माओं को पवित्रता के बंधन में बंधकर समाज में नैतिक मूल्यों और आदर्शों के धर्म को जीवन में व्यावहारिक रूप से अपनाने की प्रेरणा देता है। रक्षासूत्र केवल धागों का बंधन मंत्र

नहीं है, बल्कि यह सनातन, भारतीय संस्कृति के महान आदर्शो और पवित्र भावनाओं का बंधन है। वर्तमान समय मे रक्षाबंधन के त्यौहार को इसी व्यापक दृष्टिकोण से समझने और मनाने की आवश्यकता है। तभी आदि सनातन दैवी संस्कृति की संकल्पना साकार हो सकती है। ब्रह्माकुमारी संस्था से जुड़े सदस्यों, गणमान्य नागरिकों, को राखी बांधी गई तथा प्रसाद का वितरण किया गया। इसके बेस्ड चोपन स्थित गीता पाठशाला में भी राखी बांधी गई। कार्यक्रम को सफल बनाने में बी•के• प्रतिभा, बी•के•सीता, मनोरमा, डंगर, बृज किशोर, अशोक इत्यादि ने सक्रिय योगदान दिया।

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