शाहगंज-सोनभद्र(सर्वेश श्रीवास्तव)- कस्बे सहित ग्रामीण क्षेत्रों में घर-घर कायस्थ समाज ने चित्रगुप्त महाराज का पूजन-अर्चन धूमधाम से मनाया गया। जिसमें कायस्थ समाज के श्रद्धालुओं ने कथा पूजन के साथ हवनादि में श्रद्धा के साथ भाग लिया। इस दौरान सपरिवार घर-घर कायस्थ समाज के लोगों ने विधिवत पूजन अर्चन किया। ऐसा माना जाता है कि चित्रगुप्त जी का जन्म ब्रह्मा जी के चित्त से हुआ था
इनका कार्य प्राणियों के कर्मों का हिसाब किताब रखना है। मुख्य रूप से इनकी पूजा भाई दूज के दिन होती है इनकी पूजा से लेखनी, वाणी और विद्या का वरदान मिलता है। पुराणों के मुताबिक, चित्रगुप्त अपने दरबार में मनुष्यों के पाप-पुण्य का लेखा-जोखा कर न्याय करते थे भाई दूज के शुभ अवसर के साथ ही आज चित्रगुप्त भगवान की भी पूजा की जाती है। पुराणों के मुताबिक, चित्रगुप्त अपने दरबार में मनुष्यों के पाप-पुण्य का लेखा-जोखा कर न्याय करते थे व्यापारी वर्ग के लोगों के लिए यह दिन नए साल की शुरुआत जैसा है इस दिन नए बहीखातों पर ‘श्री’ लिखकर कार्य प्रारंभ किया जाता है हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार, इस दिन अगर चचेरी, ममेरी, फुफेरी या कोई भी बहन अपने हाथ से भाई को भोजन कराए तो उसकी आयु बढ़ती है साथ ही जीवन के कष्ट भी दूर होते हैं।