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अपने भाषण में प्रधानमंत्री मोदी ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए एक शेर कहा – न मांझी, न रहबर, न हक़ में हवाएं, है कश्ती भी जर्जर, ये कैसा सफ़र है। इस शेर की पूरी ग़ज़ल यहां पढ़ें।
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अपने भाषण में प्रधानमंत्री मोदी ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए एक शेर कहा – न मांझी, न रहबर, न हक़ में हवाएं, है कश्ती भी जर्जर, ये कैसा सफ़र है। इस शेर की पूरी ग़ज़ल यहां पढ़ें।
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