जीवन मंत्र । जानिये पंडित वीर विक्रम नारायण पांडेय जी से कुंभ विवाह…..
यदि एक कुंडली मागलिक है और दूसरी कुंडली म’गलिक नही है तो क्या करना चाहिए . प्राय: माता पिता को अपने बच्चों का विवाह करते समय एक समस्या का सामना करना पड़ता है कि लड़का या लड़की दोनों की कुंडली मे मागलिक योग तो नहीं है। लेकिन परेशानी तब होती है जब लड़के या लड़की दोनों में से एक की कुंडली मे मा’गलिक योग होता है और दूसरे की मे नही होता है। इस स्थिति में विवाह करना निषेध माना जाता है। परन्तु समस्या तब गंभीर हो जाती है जब लड़का एवं लड़की दोनों एक दूसरे को पसंद करते हैं और किसी भी हालत में विवाह करना चाहते हैं। यदि विवाह के पश्चात् पता चले कि लड़का या लड़की दोनों मे से कोई एक मागलिक है, इस कारण से दोनों में प्रायः कलह होती हैं या दोनों में से प्रायः कोई न कोई अत्यधिक बीमार रहता है तो ऐसी समस्या एवं परिस्थिति में घट विवाह से उचित कोई और समाधान नहीं।
इसमें लड़की का विवाह घट से कराया जाता है और घट को विश्नु भगवान का रूप दिया जाता है। जिस कन्या का भगवान के साथ विवाह हो जाता है वह अखन्ड़ सौभागयवति होती है। उसे फिर पति की बीमारी आदि का भय नहीं रहता। इसी प्रकार यदि वर का घट विवाह कराया जाता है तो उसकी पत्नी होती है लक्ष्मी, ऐसे मे वर की पत्नी को किसी भी प्रकार की बीमारी का भय नहीं रहता ग्रहकलेश समाप्ति होता है और दाम्पत्य जीवन में मधुरता आती है