सांस्कृतिक मूल्यों को अपनाना भी जरूरी ताकि बच्चे इन्हें सहेज सकें

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लाइफस्टाइल डेस्क. समय के साथ-साथ सोसायटी में कई तरह के बदलाव हो रहे हैं। मौजूदा फैमिली, एजुकेशन और कल्चरल वैल्यूज काफी बदल चुकी हैं। सामाजिक बदलाव जरूरी है, लेकिन इसके साथ हमारे सांस्कृतिक मूल्यों पर ध्यान देना भी जरूरी है।

स्मार्ट सिटी के साथ यह भी
देश में स्मार्ट सिटी की परिभाषा सिर्फ अच्छे ट्रांसपोर्ट, फ्लाईओवर, राेड़ या फिर बड़ी- बड़ी बिल्डिंग्स से ही नहीं बल्कि अच्छे कल्चर से भी है। कल्चरल वैल्यूज के साथ ही असल स्मार्ट सिटी का निर्माण किया जा सकता है। स्मार्ट सिटी बनाने से पहले हमें हमारी सोसायटी को स्मार्ट बनाना होगा। इसके लिए लोगों से बैठकर बातें करना जरूरी है।

कल्चरल बॉन्डिंग
वर्तमान में एकल परिवाराें का बोलबाला है। इस परिवर्तन ने रिश्तों को कहीं समाप्त कर दिया है। हालांकि हम बॉन्डिंग बनाए रखने में असफल रहे हैं। लेकिन कल्चरल बॉन्डिंग से ही हम केयर और अपनेपन के भाव पुन: तैयार कर सकते हैं। ग्लोबलाइजेशन के दौर में टेक्नोलॉजी ने कम्यूनिकेशन को बहुत आसान बना दिया है। आज किसी भी देश में बैठे व्यक्ति से सोशल मीडिया के माध्यम से कम्यूनिकेट किया जा सकता है। ऐसे में यह जरूरी है कि हम इस नॉलेज शेयरिंग के साथ कल्चरल एक्सचेंज को भी बढ़ावा दें।

इन बातों का रखें ध्यान

  • हिस्टोरिकल प्लेसेस विजिट करें। इस दौरान किसी गाइड को अपने साथ रखें ताकि आप उस जगह के बारे में पर्याप्त जानकारी हासिल कर अपने नॉलेज को बढ़ा सकें।
  • भारत के इतिहास को पढ़ें और समझें। इससे आपको हमारे देश में हुए विभिन्न परिवर्तनों और लोगाें के बारे में जानकारी हासिल हो सकेगी। इससे आपकी सोच में भी बदलाव आएगा।
  • हर फेस्टिवल को सेलिब्रेट करें और ट्रेडिशन फॉलो करना न भूलें। इससे घर में खुशी का माहौल बनता है। साथ ही घर के बुजुर्गों द्वारा चलाई जा रही परंपराओं के बारे में जानने का मौका भी मिलता है, जो भविष्य में आपके काम आता है।

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adopt cultural values ​​so that children can save them

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