दुष्कर्म के दोषी संजीत को 10 वर्ष की कैद

  • 87 हजार रूपये अर्थदंड, न देने पर 6 माह की अतिरिक्त कैद भुगतनी होगी
  • जेल में बितायी अवधि सजा में समाहित होगी
  • अर्थदंड की आधी धनराशि पीड़िता को मिलेगी
  • साढ़े 10 वर्ष पूर्व नाबालिग लड़की का अपहरण व दुष्कर्म का मामला

सोनभद्र। साढ़े 10 वर्ष पूर्व नाबालिग लड़की का अपहरण कर उसके साथ दुष्कर्म करने के मामले में बुधवार को सुनवाई करते हुए अपर सत्र न्यायाधीश एफटीसी (सीएडब्लू) सोनभद्र आशुतोष कुमार सिंह की अदालत ने दोषसिद्ध पाकर दुष्कर्म के दोषी संजीत कुमार को 10 वर्ष की कैद व 87 हजार रूपये अर्थदंड की सजा सुनाई। अर्थदंड न देने पर 6 माह की अतिरिक्त कैद भुगतनी होगी। जेल में बिताई अवधि सजा में समाहित होगी। वहीं अर्थदंड की आधी धनराशि पीड़िता को मिलेगी।
अभियोजन पक्ष के मुताबिक शाहगंज थाना क्षेत्र के एक गांव निवासी व्यक्ति ने थाने में दी तहरीर में अवगत कराया था कि उसकी नाबालिग बेटी को एक अगस्त 2012 को शाहगंज थाना क्षेत्र के सोहदौल गांव निवासी संजीत कुमार पुत्र रूद्रमणि चौबे बहला फुसलाकर भगा ले गया है। जब बेटी के बारे में संजीत से पूछताछ करता तो वह जान से मारने की धमकी दे रहा है। आवश्यक कार्रवाई की मांग किया है। इस तहरीर पर पुलिस ने 24 अगस्त 2012 को एफ आई आर दर्ज कर मामले की विवेचना किया। विवेचक ने पर्याप्त सबूत मिलने पर कोर्ट में चार्जशीट दाखिल किया था। मामले की सुनवाई करते हुए अदालत ने दोनों पक्षों के अधिवक्ताओं के तर्कों को सुनने, गवाहों के बयान व पत्रावली का अवलोकन करने पर दोषसिद्ध पाकर दुष्कर्म के दोषी संजीत कुमार को 10 वर्ष की कैद व 87 हजार रूपये अर्थदंड की सजा सुनाई। अर्थदंड न देने पर 6 माह की अतिरिक्त कैद भुगतनी होगी। जेल में बितायी अवधि सजा में समाहित की जाएगी। वहीं अर्थदंड की आधी धनराशि पीड़िता को मिलेगी। अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक विनोद कुमार पाठक ने बहस की।

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