शास्त्रीय संगीत व नृत्य से गुलजार रहा अचलेश्वर महादेव मंदिर

अमृत मिश्र एवं शिवम शुक्ल की मनोहारी प्रस्तुति से संगीत प्रेमी हुए आह्लादित!

55 में स्थापना दिवस पर पुष्प श्रृंगार से जगमग होता रहा अचलेश्वर महादेव मंदिरसोनभद्र)। देवाधिदेव महादेव का अद्भुत श्रृंगार पुष्प दीप से जगमग भव्य व दिव्य दरबार मे सांध्य आरती एवं दीप प्रज्वलन के पश्चात अनमोल पाठक के तबला वादन से संगीत समारोह का शानदार आगाज हुआ जो देर रात तक चलता रहा। शास्त्रीय संगीत, गायन व नृत्य की मनमोहक प्रस्तुतियों से डाला स्थित ऊंची पहाड़ी पर अवस्थित अचलेश्वर महादेव मन्दिर प्रांगण गुरुवार की मध्य रात्रि तक गुलजार रहा, जहां संगीत की रस वर्षा में श्रोता डुबकी लगाते रहे। गौरतलब हो कि भारत मे प्राचीन काल से ही संगीत की परम्परा समृद्ध रही है। कहा तो यह जाता है कि सृष्टि की संरचना भी संगीत से हुई है और भगवान शिव व सरस्वती को संगीत का प्रेरक माना गया

सोनभद्र(सर्वेश श्रीवास्तव)। देवाधिदेव महादेव का अद्भुत श्रृंगार पुष्प दीप से जगमग भव्य व दिव्य दरबार मे सांध्य आरती एवं दीप प्रज्वलन के पश्चात अनमोल पाठक के तबला वादन से संगीत समारोह का शानदार आगाज हुआ जो देर रात तक चलता रहा। शास्त्रीय संगीत, गायन व नृत्य की मनमोहक प्रस्तुतियों से डाला स्थित ऊंची पहाड़ी पर अवस्थित अचलेश्वर महादेव मन्दिर प्रांगण गुरुवार की मध्य रात्रि तक गुलजार रहा, जहां संगीत की रस वर्षा में श्रोता डुबकी लगाते रहे। गौरतलब हो कि भारत मे प्राचीन काल से ही संगीत की परम्परा समृद्ध रही है। कहा तो यह जाता है कि सृष्टि की संरचना भी संगीत से हुई है और भगवान शिव व सरस्वती को संगीत का प्रेरक माना गया

है। इससे यह जान पड़ता है कि इस अनूठी कला को बगैर किसी दैवीय प्रेरणा के विकसित कर पाना मानव मस्तिष्क के लिए सम्भव नही है। बड़े ही गर्व के साथ कहना पड़ रहा है कि कई मायने में इतिहास रचने वाले डाला नगर की ऊंची पहाड़ी पर स्थित श्रीअचलेश्वर महादेव मन्दिर न्यास शास्त्रीय संगीत की इस परम्परा को वर्षों से सहेजे हुए है। सोनांचल का यह अनूठा आयोजन है जिसमे विंध्य और काशी क्षेत्र समेत देश के विभिन्न हिस्सों से संगीत प्रेमी प्रतिभाग कर अपनी प्रस्तुति देते हैं।
मंदिर के 55 वें स्थापना दिवस पर गुरुवार को आयोजित शास्त्रीय संगीत समारोह में अनमोल पाठक के तबला वादन के पश्चात अनुपम पाठक ने ख्याल गायन की मनमोहक प्रस्तुति से शमां बांध दिया तो वाराणसी से आयी डा. श्रावणी विश्वास ने सितार वादन से वहां उपस्थित श्रोताओं के मन तार छेड़ दिया जिससे माहौल भक्ति मय हो गया तथा श्रोता संगीत की सुर लहरियों में डूबते उतराते रहे। इतना ही नहीं अमृत मिश्र व

शिवम शुक्ल ने कथक नृत्य की मनोहारी प्रस्तुति आयोजन को शिखर तक पहुंचाकर ऊंचाई प्रदान की और प्रति वर्ष की भांति इस वर्ष भी यह आयोजन मानस पटल पर अपनी गहरी छाप छोड़ते हुए आगामी आयोजन की ओर गतिशील हो गया।
श्रीअचलेश्वर महादेव मंदिर के महंत पं मुरली तिवारी के कुशल मार्गदर्शन एवं बहन किरण तिवारी व चंद्र प्रकाश तिवारी के सफल संचालन में सम्पन्न हुए समारोह में प्रमुख रूप से सदर विधायक भूपेश चौबे, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता व समाजसेवी राजेश द्विवेदी, पंचमुखी महादेव मन्दिर के महंत लक्ष्मण दुबे, शिक्षा व पर्यावरणविद जे.एन. तिवारी, कवि एवं पत्रकार प्रभात सिंह चन्देल, युवा कांग्रेस प्रदेश महासचिव धीरज पाण्डेय, मृदुल मिश्रा, वरिष्ठ साहित्यकार डा. लखनराम जंगली, डीडी न्यूज संवाददाता सुनील तिवारी, सनोज तिवारी, नीरज पाठक, ओम प्रकाश तिवारी, जगदीश तिवारी, राजवंश चौबे, शशि चौबे,ज्ञानेन्द्र त्रिपाठी, संदीप मिश्रा, सत्यम मिश्रा, कुमार मंगलम तिवारी, अखिलेश पांडेय समेत सैकड़ों संगीत प्रेमी एवं धर्म अनुरागी मौजूद रहे।

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