अनपरा एसएचओ के विरुद्ध प्रकीर्ण वाद होगा दर्ज
- 31 अगस्त को न्यायालय के समक्ष हाजिर होकर अपना पक्ष रखने एवं आख्या प्रस्तुत करने का आदेश
- एडीजे पॉक्सो अदालत द्वारा अभियुक्त के बारे में मांगी गई आख्या न देने का मामला
सोनभद्र। अपर सत्र न्यायाधीश/विशेष न्यायाधीश पॉक्सो निहारिका चौहान की अदालत ने शनिवार को सुनवाई करते हुए अभियुक्त के बारे में आख्या प्रस्तुत न करने पर कड़ा रुख अपनाते हुए अनपरा एसएचओ के विरुद्ध प्रकीर्ण वाद दर्ज करने का आदेश दिया है। साथ ही आगामी 31 अगस्त को न्यायालय के समक्ष उपस्थित होकर अपना पक्ष रखने को कहा है। इसके अलावा 3 अगस्त को भेजे गए आदेश पत्र जिसमें अभियुक्त रामगति के विरुद्ध जारी गैरजमानती वारंट से सम्बंधित मामला दर्ज कर रजिस्टर प्रस्तुत करने के साथ ही मांगी गई आख्या भी प्रस्तुत करने का आदेश दिया है।
बता दें कि कोर्ट ने अनपरा एसएचओ को 3 अगस्त 2022 को भेजे पत्र में आदेशित किया था कि दुष्कर्म एवं पॉक्सो एक्ट के मामले में अभियुक्त रामगति के विरुद्ध जारी गैरजमानती वारंट से सम्बंधित रजिस्टर में दर्ज कर अविलंब रजिस्टर प्रेषित करें। साथ ही 18 अगस्त को आख्या प्रेषित करने को कहा गया था, किंतु अनपरा एसएचओ ने आख्या प्रस्तुत नहीं की। जिसे कोर्ट ने अत्यंत आपत्तिजनक माना है। किंतु अनपरा एसएचओ ने कोर्ट से भेजे गए पत्र एवं आदेश को गम्भीरता से नहीं लिया। यहीं वजह रही कि आख्या नहीं प्रस्तुत की गई। अतः धारा 349 के तहत अनपरा एसएचओ के विरुद्ध प्रकीर्ण वाद दर्ज किया जाए। साथ ही 31 अगस्त 2022 को न्यायालय में उपस्थित होकर अपना पक्ष प्रस्तुत रखें एवं 3 अगस्त 2022 को मांगी गई आख्या भी प्रस्तुत करने का आदेश दिया है ।