आईजीआरएस, सीएम हेल्पलाइन और जनता दर्शन की हर शिकायत का हो समयबद्ध-संतोषपूर्ण निस्तारण: मुख्यमंत्री

आम आदमी की संतुष्टि होगी अधिकारियों के प्रदर्शन का मानक: मुख्यमंत्री

यातायात बाधित कर सड़कों पर किसी प्रकार के धार्मिक क्रियाकलाप की अनुमति नहीं : मुख्यमंत्री

धार्मिक यात्राओं/जुलूसों में अस्त्र-शस्त्र का प्रदर्शन नहीं होना चाहिए: मुख्यमंत्री

फील्ड में तैनात अधिकारी स्थानीय जनप्रतिनिधियों से सतत संवाद-संपर्क बनाएं रखें: मुख्यमंत्री

कांवड़ यात्रा मार्ग पर जगह-जगह हेल्थ पोस्ट स्थापित किए जाएं

आईजीआरएस/सीएम हेल्पलाइन जनता की समस्याओं के निदान का अच्छा माध्यम

● मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने सोमवार को मंडल, रेंज, जोन और जनपद में तैनात वरिष्ठ प्रशासनिक व पुलिस अधिकारियों के साथ कांवड़ यात्रा के सुगम व शांतिपूर्ण आयोजन, स्वतंत्रता सप्ताह के सफल आयोजन के सम्बंध में दिशा-निर्देश दिए। वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से हुई इस विशेष बैठक में मुख्यमंत्री जी ने आईजीआरएस, जनता दर्शन और सीएम हेल्पलाइन पर प्राप्त शिकायतों के थाना, तहसील व जिला स्तर की रैंकिंग के अनुसार अधिकारियों को कार्यप्रणाली को बेहतर करने के निर्देश भी दिए।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आम आदमी की संतुष्टि सबसे महत्वपूर्ण है। शासन-प्रशासन से जुड़े सभी अधिकारियों/कार्मिकों को इसे समझना चाहिए। आम आदमी को न्याय पाने का अधिकार है। तहसीलों/प्राधिकरणों आदि जन हित से सीधे जुड़ाव रखने वाले कार्यालयों में हर दिन एक घंटे की अवधि जनसुनवाई के लिए नियत है। इस अवधि में अधिकारी जनता से मिलें, शिकायतें/समस्याएं सुनें और मेरिट पर निस्तारण करें। आईजीआरएस/सीएम हेल्पलाइन जनता की समस्याओं के निदान का अच्छा माध्यम बन कर उभरा है। इसके प्रकरण लंबित न रहें। इनकी हर कार्यालय में सतत समीक्षा होनी चाहिए।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि फील्ड में तैनात अधिकारी/कर्मचारी जनसमस्याओं के निस्तारण को शीर्ष प्राथमिकता दें। आमजन के साथ संवेदनशील व्यवहार रखें। यह ध्यान रखें कि आपका आचरण आम आदमी के मन में शासन के प्रति विश्वास का आधार बनता है। जनता की संतुष्टि ही आपके प्रदर्शन की श्रेष्ठता का मानक होगा।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हर व्यक्ति को न्याय पाने का अधिकार है। सोमवार से शनिवार तक जन हित से सीधे जुड़ाव रखने वाले कार्यालयों में हर दिन एक घंटे की अवधि जनसुनवाई के लिए नियत है। इस अवधि में अधिकारी जनता से मिलें, शिकायतें/समस्याएं सुनें और मेरिट पर निस्तारण करें।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि आईजीआरएस/सीएम हेल्पलाइन जनता की समस्याओं के निदान का अच्छा माध्यम बन कर उभरा है। इसके प्रकरण लंबित न रहें। इनकी हर कार्यालय में सतत समीक्षा होनी चाहिए।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रत्येक कार्यालय में मूवमेंट रजिस्टर अनिवार्य रूप से रखा जाए, जिसमें कार्यालय से बाहर जाने वाले अधिकारी/कर्मचारी का विवरण रहे।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि फील्ड में तैनात वरिष्ठ अधिकारी तहसील/ब्लॉक/सर्किल का औचक निरीक्षण करते रहें। बेसिक शिक्षा अधिकारी, सीएमओ, डीआआईओएस सभी अपने अधीनस्थ कार्यालयों के औचक निरीक्षण करें। हर दिन एक जगह का औचक निरीक्षण जरूर करें।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि अधिकारी फील्ड का नियमित भ्रमण करते हुए क्षेत्र में रात्रि निवास करें। रेंज और जोन स्तर के अधिकारी अलग-अलग जिलों में रात्रि विश्राम करते हुए स्थानीय समस्याओं/संभावनाओं की जानकारी कर आवश्यक कार्यवाही करें। इसी प्रकार, जिलाधिकारी/पुलिस कप्तान माह में कम से कम एक बार अलग-अलग तहसील/सर्किल में बारी-बारी से रात्रि विश्राम करें। इससे पूरा सिस्टम एक्टिव बना रहेगा।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि जिलाधिकारी/पुलिस कप्तान स्थानीय जनप्रतिनिधियों से सतत संवाद-संपर्क बनाए रखें। उनके सुझावों पर ध्यान दें। उनके पत्रों का त्वरित निस्तारण किया जाए। फोन रिसीव न कर सकें तो कॉल बैक करें। हर शासकीय अधिकारी को इसका अनुपालन करना होगा।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पवित्र श्रावण मास के प्रथम सोमवार के विशेष अवसर पर आज प्रदेश के सभी जिलों में आस्था और उत्साह के साथ श्रद्धालुओं ने जलाभिषेक किया। यह हमारी अच्छी तैयारी का ही परिणाम है कि सभी जगह स्थिति शांतिपूर्ण रही।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि लगभग दो वर्ष के अंतराल के बाद इस बार कांवड़ यात्रा आयोजित हो रही है। ऐसे में श्रद्धालुओं का उत्साहित होना स्वाभाविक ही है। बड़ी संख्या में लोग जलाभिषेक के लिए आवागमन कर रहे हैं। कांवड़ यात्रा सुचारू रूप से चल रही है। अमरोहा में एक दुःखद घटना की सूचना भी मिली है। ऐसे में हमें और सावधान-सतर्क रहना होगा। कांवड संघों का पंजीयन करा लिया जाए।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि कांवड़ यात्रा मार्ग पर जगह-जगह हेल्थ पोस्ट स्थापित किए जाएं। हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर भी उपयोगी हो सकते हैं। यहां प्राथमिक चिकित्सा की सुविधा रहे। गर्मी तेज है, ऐसे में मार्ग में पीने के पानी की व्यवस्था भी हो।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि कांवड़ यात्रा की दृष्टि से गाजियाबाद-हरिद्वार मार्ग पर सर्वाधिक व्यस्त रहता है। यहां दूसरे राज्यों के श्रद्धालु भी आते हैं। अतः सीमावर्ती राज्यों से भी संवाद बनाए रखें। इसके साथ-साथ अन्य यात्रा मार्गों पर श्रद्धालुओं की संख्या को देखते हुए ट्रैफिक रूट डायवर्जन भी किया जाना चहिए।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि त्वरित कार्यवाही और संवाद-संपर्क अप्रिय घटनाओं को संभालने में सहायक होती है। ऐसे में किसी भी अप्रिय घटना की सूचना पर बिना विलंब किए, जिलाधिकारी/पुलिस कप्तान खुद मौके पर पहुंचे। संवेदनशील प्रकरणों में वरिष्ठ अधिकारी लीड करें। सेक्टर स्कीम लागू करें।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि शरारती तत्व दूसरे सम्प्रदाय के लोगों को अनावश्यक उत्तेजित करने की कुत्सित प्रयास कर सकते हैं, ऐसे मामलों पर नजर रखें। कांवड़ियों के रात्रि विश्राम के क्षेत्र में सुरक्षा और जनसुविधा के पर्याप्त इंतज़ाम होने चाहिए। पुलिस बल फुट पेट्रोलिंग करे। पीआरवी 112 एक्टिव रहे।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि सड़क आम-आदमी के आवागमन के लिए है। यातायात बाधित कर सड़कों पर किसी प्रकार के धार्मिक क्रियाकलाप की अनुमति नहीं है। इस सम्बंध में स्पष्ट दिशा-निर्देश दिए जा चुके हैं, जीरो टॉलरेंस के साथ इसका कड़ाई से अनुपालन कराया जाए।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि श्रावण माह में विविध आयोजन भी होंगे। शिवालयों में सामान्य से अधिक लोगों की उपस्थिति होगी। ऐसे में आयोजकों अथवा मंदिर प्रबंधन से पहले से ही संवाद कर लिया जाना चाहिए।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हर पर्व शांति और सौहार्द के बीच सम्पन्न हों, इसके लिए स्थानीय जरूरतों को देखते हुए सभी जरूरी प्रयास किए जाएं। शरारतपूर्ण बयान जारी करने वालों के साथ जीरो टॉलरेंस की नीति के साथ कड़ाई से पेश आएं। माहौल खराब करने की कोशिश करने वाले अराजक तत्वों के साथ पूरी कठोरता की जाए। ऐसे लोगों के लिए सभ्य समाज में कोई स्थान नहीं होना चाहिए।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि धार्मिक यात्राओं/जुलूसों में अस्त्र-शस्त्र का प्रदर्शन नहीं होना चाहिए। ऐसी कोई घटना न हो, जिससे दूसरे धर्म के लोगों की भावनाएं आहत हो। जुलूस में परंपरागत वाद्य यंत्र बजाए जा सकते हैं।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि थाना, सर्किल, जिला, रेंज, जोन, मंडल स्तर पर तैनात वरिष्ठ अधिकारीगण अपने-अपने क्षेत्र के धर्मगुरुओं, समाज के अन्य प्रतिष्ठित जनों के साथ संवाद बनाएं। लोगों के लिए सकारात्मक संदेश जारी कराएं। पीस कमेटी की बैठक कर लें। मीडिया का सहयोग लें, ताकि शांति और सौहार्द का माहौल बना रहे।

● मुख्यमंत्री जी ने कहा कि लोकतंत्र में संवाद का बड़ा महत्व है। संवाद के माध्यम से ही हमने अनावश्यक रूप से लगाये गए माइक को हटाने में सफलता पाई है। हर प्रकरण में इसी प्रकार संवाद-संपर्क के माध्यम से समस्याओं का निस्तारण करें।

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