कोयला उत्पादन में भी दर्ज की 4 प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि
भारत सरकार की मिनीरत्न कंपनी नॉर्दर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (एनसीएल) ने चालू वित्त वर्ष में जनवरी माह के अंत तक कोयला उत्पादन व प्रेषण में विगत वर्ष की तुलना में उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की है |
कंपनी ने वर्ष 2021-22 के शुरुआती दस महीनों में विगत वर्ष की तुलना में 4.03 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 98.44 मिलियन टन कोयला उत्पादन किया है | यह कंपनी के चालू वित्त वर्ष में जनवरी माह तक के लिए निर्धारित 97.10 मिलियन टन उत्पादन लक्ष्य से भी अधिक है |
यही नहीं , कोयला प्रेषण में भी चालू वित्त वर्ष के पहले दस महीनों में एनसीएल ने बिजली घरों सहित अपने सभी कोयला उपभोक्ताओं को 103.64 मिलियन टन कोयले का प्रेषण (डिस्पैच) किया है जो विगत वर्ष की समान अवधि की तुलना में 16.01 % अधिक है |
उल्लेखनीय है कि चालू वित्त वर्ष में जनवरी माह के अंत तक एनसीएल के कुल कोयला प्रेषण 103.64 मिलियन टन में से 90.91 मिलियन टन बिजली क्षेत्र को भेजा गया है जो विगत वर्ष में बिजली घरों को भेजे गए कोयले से लगभग 18 प्रतिशत अधिक है | एनसीएल निर्भर सभी बिजली घरों को पर्याप्त कोयले की आपूर्ति सुनिश्चित कर रही है |
चालू वित्त वर्ष की इस अवधि में एनसीएल ने 5.2 मिलियन टन के कोयले के स्टॉक को लिक्विडेट भी किया है |
मॉनसून अवधि में उम्मीद से अधिक भारी बारिश द्वारा उत्पन्न गतिरोध एवं कोविड जनित अड़चनों के आलोक में एनसीएल का यह उत्कृष्ट प्रदर्शन सराहनीय है |
गौरतलब है कि वित्त वर्ष 2021-22 में एनसीएल को 119 मिलियन टन कोयला उत्पादन व 126.5 मिलियन टन कोयला प्रेषण की जिम्मेदारी दी गई है। हाल ही में कंपनी ने लगातार चौथी बार 100 एमटी कोयला प्रेषण का जादुई आंकड़ा पार किया है |