समर जायसवाल-
(दुद्धी)सोनभद्र– विकास खण्ड दुद्धी के अंतर्गत आने वाले दो ग्राम सभा करहिया व बोधाडीह तहसील मुख्यालय से लगभग 20 किलोमीटर दूरी पर स्थित है जो अत्यंत ही दुर्गम व दुरूह है ।जंगलों से घिरे दोनो ग्राम सभा कनहर नदी के किनारे पर है। इन ग्रामसभाओं के लिए दुद्धी ब्लॉक ,तहसील व अन्य किसी भी कार्य को करने के लिए सुलभ और सरल है।आवागमन के लिए भी सुविधापुर्ण है। यहाँ के लोग अपनी आजीविका के लिए लकड़ी, पत्तियों और दातुन बेचकर पेट पालते हैं ।साथ ही जो कुछ थोड़ा ऊपर है वे भी दुद्धी का ही सहारा लेकर अपना काम करते है।इसलिए करहिया व बोधाडीह को चोपन ब्लॉक से काटकर अलग हुए नव सृजित ब्लॉक कोन में जोड़ना कही से भी उचित नहीं है। दोनों ग्रामसभाओं में 90 प्रतिशत लोग आदिवासी समाज से सम्बन्ध रखते है।उक्त बातें भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता डीसीएफ चेयरमैन सुरेन्द्र अग्रहरि ने कही।उन्होंने कहा कि बोधाडीह व करहिया से आने जाने के लिए बासीन, बगरवा ,जोरकहु होते हुए लोग महुली तक आते है, इनका खाता भी महुली के आर्यावर्त बैंक महुली में खुला हुआ है जिससे यहाँ के लोगो के लिए यही मार्ग और स्थान उपयुक्त है ।इसलिए ई न गाँवो को कोन ब्लॉक में जोड़ा जाना उचित नहीं है ।सरकार में बैठे प्रशासनिक अधिकारी यहाँ के लोगो के सभी चीजों का ध्यान रखते हुए कोई भी कदम उठाए तो अच्छा रहेगा जैसे स्वास्थ्य, शिक्षा, आवागमन के साधन, रोजगार की स्थिति, बैंक , बाजार के स्थान व दूरी, इन सभी आवश्यक चीजो पर ध्यान दे ,उसके बाद ही कोई ठोस निर्णय लिया जाना चाहिए । यहाँ के लोग पीने के पानी लेने दूर दूर तक जाते है, सड़क की स्थिति खराब हो जाती हैं । इस प्रकार करहिया व बोधाडीह के लोगो के लिए दुद्धी उपयुक्त है क्योंकि यही पर न्यायालय भी है ।डिग्री कालेज है,आई टी आई कॉलेज है ।इसलिए इन दोनों ग्रामसभाओं को दुद्धी में रखना प्रशासनिक दृष्टिकोण से उचित रहेगा ।।।