आंगनबाड़ी व दाईयों के सहारे संचालित हो रही विद्यालय।

बभनी/सोनभद्र (अरुण पांडेय)

मामला विकास खंड के प्राथमिक विद्यालय कारीडांड़ का।

एक बजे भेंजे गए दूसरे विद्यालय के अध्यापक।

बभनी। विकास खंड के प्राथमिक विद्यालय कारीडांड़ में लगभग बारह बजे रसोईयां और आंगनबाड़ी विद्यालय का संचालन करते हुए मिलीं और गांव के ही महेश यादव सहित अन्य ग्रामीणों ने आरोप लगाते हुए बताया कि विद्यालय में सहायक अध्यापक के रूप में तैनात सुरज जायसवाल माह में कभी-कभी दो चार दिनों के लिए आते हैं फिर चले जाते हैं और ग्रामीणों ने यह भी बताया कि विगत वर्ष भी लगभग पांच छः माह तक उक्त अध्यापक विद्यालय नहीं आ रहे थे हम ग्रामीणों के हस्तक्षेप के पश्चात मामला समाचार पत्रों में प्रकाशित होने के पश्चात अध्यापक विद्यालय पर आ गया ग्रामीणों ने यह भी आरोप लगाया कि उक्त अध्यापक के विभाग में उच्चाधिकारियों से अच्छी पैक्ट है जिस कारण उक्त अध्यापक अपने कार्यों में लापरवाही बरत रहे हैं और उनके ऊपर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। उसी विद्यालय में तैनात सुभेस यादव शिक्षामित्र हैं जिन्हें खंड शिक्षा अधिकारी के द्वारा उस विद्यालय में पढ़ाने से मना कर दिया गया है और पास के ही प्राथमिक विद्यालय बड़होर में संबद्ध कर दिया गया है अध्यापक की अनियमितता के कारण हम सभी ग्रामीण असंतुष्ट हैं। जब इस संबंध में खंड शिक्षा अधिकारी आलोक कुमार से बात किया गया तो उन्होंने बताया कि सुरज जायसवाल की रात में तवियत खराब हो गई जिससे घर चले गए हैं जबकि रसोईयों ने बताया कि कल सुबह गुरुजी आए थे अपने कुछ कागज रजिस्टर देखे और तुरंत चले गए। जब खंड शिक्षा अधिकारी कार्यालय में उपस्थित लिपिक मुकेश त्रिपाठी से संपर्क किया गया तो उन्होंने बताया कि कार्यालय में किसी भी प्रकार का कोई लिखित अवकाश का प्रार्थनापत्र प्राप्त नहीं है। उक्त मामले को लेकर अध्यापक की अनियमितता का चट्टी चौराहों पर चर्चा का विषय बना हुआ है।

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