– नए एडीओ पंचायत की स्थाई नियुक्ति की मांग
– दुद्धी ब्लाक में थम सा गया है विकास कार्य
सोनभद्र।स्थानीय विकास खंड में एडीओ पंचायत की स्थाई नियुक्ति न होने से विकास कार्य बाधित होता नजर आ रहा है।इस वित्तीय वर्ष में करीब दस माह से भी ज्यादा समय निकल जाने के बावजूद विकास दर का आंकड़ा अन्य वर्षों की तुलना में बहुत ही कम है।उक्त बातें भाजपा के पूर्व जिला महामंत्री व डीसीएफ चेयरमैन सुरेंद्र अग्रहरि ने पत्रकारों से बातचीत में कही। उन्होंने आगे कहा कि शासन द्वारा इस बार डोंगल पद्धति से भुगतान व्यवस्था लागू करने के बाद इसे व्यवहारिक प्रक्रिया में लाने में काफी समय व्यतीत हुआ।अब जब सबकुछ सामान्य हुआ और विकास के घोड़े दौड़ाने की बारी आई तो ब्लाक में एडीओ पंचायत की स्थाई नियुक्ति न होने से अवरोध आने लगा है।वर्तमान समय मे चोपन विकास खंड में तैनात एडीओ पंचायत रविदत्त मिश्रा को ही दुद्धी ब्लाक का भी अतिरिक्त प्रभार दिया गया है।दो-दो बड़े ब्लाकों की जिम्मेदारी एक एडीओ पंचायत के कंधे पर होने के कारण स्थाई रूप से कहीं का भी कार्य नही हो पा रहा है।चोपन रहते हैं तो दुद्धी का कार्य प्रभावित और दुद्धी रहते हैं तो चोपन का कार्य प्रभावित होता है।कभी कभार दुद्धी में दर्शन देने वाले एडीओ पंचायत के नखरे और प्रधान व सचिवों से तालमेल का अभाव भी कार्य मे रोड़ा बन रहा है।उन्होंने बताया कि कई गांवों के प्रधान और सचिवों का डोंगल व उसका पासवर्ड पंचायत कार्यालय में रखकर तानाशाही रवैया अपनाया जाता रहा है।इधर बीच काफी दबाव बढ़ने पर कुछ प्रधान व सचिवों को उनका डोंगल दिया गया है।इससे खासकर दुद्धी ब्लाक की विकास गति काफी धीमी पड़ चुकी है।उन्होंने कहा कि दुद्धी ब्लाकजिसमें 60 ग्राम पंचायत है जो जनपद के आदिवासी बाहुल्य एवं काफी पिछड़ा क्षेत्र माना जाता रहा है।कई गांव आज भी विकास से कोसों दूर हैं और बुनियादी समस्यायें मुंह बाये खड़ी हैं।बावजूद इसके पिछले सप्ताह 10 फरवरी से लेकर 15 फरवरी तक लगातर ऑफिस से गायब रहने के कारण पंचायत ऑफिस में किसी काम को लेकर दूर दराज से आने वाले ग्रामीणों को बैरंग लौटना पडा है।किसी जनप्रतिनिधि अथवा पत्रकार को कोई सूचना लेनी हो तो उसे भी बैरंग लौटना पड़ा है।पूरा ऑफिस सफाईकर्मियों के हवाले संचालित हो रहा है।ऐसी स्थिति में जिम्मेदार अधिकारी एडीओ पंचायत का हमेशा गायब रहना विकास व्यवस्था पर प्रश्न चिन्ह खड़ा करता है।इस संबंध में श्री अग्रहरि ने जिलाधिकारी कार्यालय को सेलफोन से अवगत कराया और क्षेत्र व विकास हित में तत्काल इनका स्थानांतरण कर किसी दूसरे अधिकारी की स्थाई नियुक्ति की मांग की है।