भागीदारी के लिए समाज को संगठित करने के संकल्प साथ विश्वकर्मा अलंकरण सम्मान समारोह संपन्ऩ

विश्वकर्मा समाज किसी दल का गुलाम नहीं विकास की मुख्यधारा से जुड़ने के लिए एकजुटता जरूरी –अशोक विश्वकर्मा

वाराणसी 9 फरवरी, रविवार। अपने उत्कृष्ट योगदान और क्रियाकलापों से विभिन्न क्षेत्रों में विश्वकर्मा समाज के गौरव एवं स्वाभिमान में अभिवृद्धि कर चार चांद लगाने वाले,देश भर से आए विभूतियों को ऑल इंडिया यूनाइटेड विश्वकर्मा शिल्पकार महासभा ने आज स्थानीय पराड़कर स्मृति भवन के गर्दे सभागार में आयोजित विश्वकर्मा प्रहरी अलंकरण सम्मान समारोह में सम्मानित किया। मुख्य अतिथि राष्ट्रीय अध्यक्ष अशोक कुमार विश्वकर्मा ने समारोह को संबोधित करते हुए कहा विश्वकर्मा वंशीयों ने श्रम के सिद्धांत को प्रतिपादित करते हुए बिना किसी भेदभाव के देश व समाज के विकास में महत्वपूर्ण सृजनात्मक योगदान करते रहे हैं। आपसी भाईचारा और सामाजिक समरसता की भावना से सभी के विकास के लिए रचना और निर्माण की संस्कृति इस समाज की अलग पहचान बनाती है। समाज समानता के जिस सम्मान का हकदार है उसे सत्ता में बैठे राजनैतिक और सामाजिक व्यवस्था में बैठे मनुवादी सामंतों ने नहीं दिया। उन्होंने कहा विश्वकर्मा समाज किसी दल का गुलाम नहीं सभी ने सिर्फ वोट के लिए इस्तेमाल किया और धोखा दिया। जिसके चलते समाज समान भागीदारी के अधिकार से वंचित है। समाज को विकास की मुख्यधारा से जोड़ने के लिए संगठित होना जरूरी है। क्योंकि भागीदारी के अधिकार को हासिल करने के लिए समाज के सामने संगठित शक्ति के बल पर संघर्ष के सिवाय दूसरा कोई रास्ता नहीं है। समारोह को संबोधित करते हुए विशिष्ट अतिथियों ने सर्वांगीण विकास भागीदारी स्वाभिमान और खोए हुए गौरवको वापस पाने के लिए सामाजिक एकजुटता और शिक्षा पर विशेष बल दिया। इस अवसर पर समाजसेवा, साहित्य ,शिक्षा, शिल्प, कला ,संस्कृति, चिकित्सा, पत्रकारिता आदि में उल्लेखनीय सेवा योगदान एवं विशिष्टता धारण करने वाले 51 विभूतियों को महासभा के पंच रंगा ध्वज वाली पगड़ी पहनाकर तथा अलंकरणो से विभूषित सम्मान पत्र व स्मृति चिन्ह प्रदान कर सम्मानित किया गया। जिनमें प्रमुख रूप से राष्ट्रीय अध्यक्ष अशोक कुमार विश्वकर्मा को संघर्ष एवं शौर्य का प्रतीक तलवार भेंट कर सम्मानित किया गया एवं लोहार विकास मंच के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजकिशोर शर्मा व सुरेश विश्वकर्मा को विश्वकर्मा पितामह ,पारसनाथ विश्वकर्मा जज रामकिशोर शर्मा बेहद को विश्वकर्मा रत्न, बिहार लोहार महासभा के प्रदेश अध्यक्ष जग नारायण शर्मा व श्याम बिहारी विश्वकर्मा को विश्वकर्मा श्री ,तथा श्रीकांत विश्वकर्मा व डॉ राजेश कुमार शर्मा को विश्वकर्मा कुलभूषण, सदानंद विश्वकर्मा उर्फ दिलकश भारती व पंच देव आनंद श्यामलाल विश्वकर्मा व राजेश कुमार विश्वकर्मा को विश्वकर्मा गौरव, दीनदयाल विश्वकर्मा व मनोज कुमार विश्वकर्मा को विश्वकर्मा केसरी, राहुल विश्वकर्मा व रामप्रवेश शर्मा को विश्वकर्मा नंदन ,अनीता विश्वकर्मा मिली विश्वकर्मा नंदलाल विश्वकर्मा डॉ प्रमोद कुमार विश्वकर्मा, चंद्रशेखर विश्वकर्मा डॉक्टर धर्मेंद्र विश्वकर्मा दीपेश विश्वकर्मा, प्रदेश अध्यक्ष। दिल्ली सुरेश विश्वकर्मा एडवोकेट रमेश विश्वकर्मा लोचन विश्वकर्मा भैरो विश्वकर्मा, अनिल विश्वकर्मा प्रमोद विश्वकर्मा लोकगीत गायक रामकिशुन विश्वकर्मा धर्मेंद्र विश्वकर्मा, अखिलेश विश्वकर्मा प्रदीप विश्वकर्मा पत्रकार राजीव कुमार विश्वकर्मा पत्रकार अजय कुमार विश्वकर्मा महेंद्र विश्वकर्मा, अवधेश कुमार विश्वकर्मा, शिवकुमार शर्मा अजय कुमार विश्वकर्मा विजय कुमार विश्वकर्मा सहित अनेक लोगों को विश्वकर्मा प्रहरी सम्मान से सम्मानित किया गया। कार्यक्रम के आरंभ में भगवान विश्वकर्मा के चित्र पर अतिथियों द्वारा माल्यार्पण कर दीप प्रज्वलित किया गया तथा सदानंद विश्वकर्मा पंचदेव आनंद एवं धर्मेंद्र कुमार विश्वकर्मा तथा प्रमोद कुमार विश्वकर्मा द्वारा स्वागत गीत एवं भगवान विश्वकर्मा केमहत्ता से संबंधित गीत एवं स्तुति प्रस्तुत किया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता नंदलाल विश्वकर्मा ने एवं संचालन श्रीकांत विश्वकर्मा तथा राजेश कुमार विश्वकर्मा कवि ने किया। कार्यक्रम में प्रमुख रूप से मेवालाल विश्वकर्मा संजय बागी चौधरी विश्वकर्मा राजेन्द्र विश्वकर्मा शिव आसरे विश्वकर्मा कालिका विश्वकर्मा, दिनेश विश्वकर्मा प्रेम विश्वकर्मा, अवधेश विश्वकर्मा सियाराम विश्वकर्मा, कमलेश विश्वकर्मा प्रहलाद विश्वकर्मा किशन विश्वकर्मा मोहित विश्वकर्मा, गोविंद विश्वकर्मा, जितेंद्र विश्वकर्मा, रोहित विश्वकर्मा गोपाल जी विश्वकर्मा प्यारेलाल विश्वकर्मा साजन विश्वकर्मा सहित देश भर से विश्वकर्मा समाज के नेता प्रतिनिधि एवं पदाधिकारी बड़ी संख्या में उपस्थित थे।

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