रिहंद परियोजना में वरिष्ठ अधिकारियों हेतु आयोजित की गई ‘सतर्कता’ कार्यशाला

(रामजियावन गुप्ता)

—- ईमानदारी व सावधानी से कार्य करने के लिए सतर्कता कार्यशाला अत्यधिक उपयोगी – जी सी चौकसे ।

बीजपुर(सोनभद्र) एनटीपीसी की रिहंद परियोजना में सतर्कता विभाग के तत्वावधान में मंगलवार को कर्मचारी विकास केंद्र के डॉ0 बी आर अंबेडकर सम्मेलन कक्ष में वरिष्ठ अधिकारियों हेतु एक दिवसीय ‘सतर्कता’ कार्यशाला का आयोजन किया गया । इस अवसर पर मुख्य अतिथि महाप्रबंधक (रिहंद) जी सी चौकसे ने अपने संबोधन में सतर्कता कार्यशाला की उपयोगिता पर प्रकाश डालते हुए कहा कि अपने से उच्चस्थ, अधीनस्थ, अंतरविभागीय एवं जनता से मधुर संबंध बनाए रखने हेतु सतर्कता कार्यशाला अति आवश्यक है । सतर्कता कार्यशाला कर्मचारियों को सतर्कता पूर्वक कार्य करने की सीख देता है । अच्छी प्रकार से की गई नोटिंग व ड्राफ्टिंग संविदा कार्य में किसी प्रकार की कोई गलती की गुंजाइश नहीं रह जाती है । इसके साथ-साथ उन्होने यह भी बताया कि एक अच्छा नागरिक व एक अच्छा एनटीपीसी कर्मी होने नाते हमें ईमानदारी व सावधानी से अपना कार्य निष्पादन करना चाहिए । इसके पूर्व वरिष्ठ विशेषज्ञ धनवंतरी चिकित्सालय डॉ0 मुकुल सक्सेना ने मुख्य अतिथि को गुलदस्ता प्रदान कर उनका स्वागत किया ।

कार्यशाला के दौरान मुख्य वक्ता की भूमिका का निर्वहन करते हुए वरिष्ठ प्रबंधक (सतर्कता) एस सी श्रीवास्तव ने उपस्थित अधिकारियों को सतर्कता के बावत विशेष जानकारियाँ प्रदान करते हुए उन्हें अवगत कराया कि यदि वे सतर्कता पूर्वक कार्य करेंगे तो उन्हें किसी भी प्रकार के भय का सामना नहीं करना पड़ेगा । कार्यशाला में विशेष रूप से भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988, अनुपातहीन संपत्ति प्रॉपर्टी रिटर्न तथा संविदा के पूर्व एवं पश्चात संभावित त्रुटियों के साथ-साथ डीओपी संबंधित जानकरी के बारे में विस्तार पूर्वक बताया । इस दौरान सतर्कता के संदर्भ में श्री श्रीवास्तव ने केस स्टडीज के द्वारा विशेष नुस्खे भी लोगों को सिखाए । इस अवसर पर श्री श्रीवास्तव ने यह भी जानकरी दी कि दिनांक 28 अक्टूबर से 02 नवंबर तक सतर्कता जागरूकता सप्ताह का रिहंद परियोजना में आयोजन किया जा रहा है । कार्यशाला में रिहंद परियोजना के लगभग 45 उच्चाधिकारियों ने भाग लिया ।

कार्यक्रम का संयोजन एवं संचालन वरिष्ठ प्रबंधक (ईडीसी) रविन्द्र सिंह व धन्यवाद ज्ञापन उप प्रबंधक (मा0 सं0-ईडीसी) संतोष कुमार विश्वकर्मा ने किया। कार्यशाला में मुख्य रूप से अपर महाप्रबंधकगण, उप महाप्रबंधकगण व विभागाध्यक्षगणों के साथ-साथ परियोजना के अन्य उच्चाधिकारी भी उपस्थित रहे ।

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