सोनभद्र। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के राष्ट्रीय सचिव केसी वेणुगोपाल ने उत्तर प्रदेश के 22 जिलो के जिलाध्यक्षों के नाम की पहली सूची जारी किया है ।

जिसमे सबसे चौकाने वलक नाम सोनभद्र के जिलाध्यक्ष रामराज गोंड़ का नाम रहा है । उभ्भा में आदिवासियों और ग्राम प्रधान के समर्थकों के बीच हुए विवाद को कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव व उत्तर प्रदेश की प्रभारी प्रियंका गांधी के सामने दमदारी के साथ रखने का इनाम रामराज गोंड़ को मिला है। वही आदिवासी समुदाय से जिलाध्यक्ष बना कर कांग्रेस ने बहुजन समाज पार्टी के आदिवासियों की हितैषी बनने के दावे को भी चुनौती दिया है , क्योकि बहुजन समाज पार्टी ने पहले बी सागर को जिलाध्यक्ष घोषित किया लेकिन कुछ दिनों बाद बसपा सुप्रीमो ने कमलेश कुमार गोंड़ को जिलाध्यक्ष बना दिया। अब देखना है कि जिले में योगी सरकार उभ्भा में 17 जुलाई की घटना के बाद जितनी तेजी में पीडितो को न्याय दिलाने का दावा कर अपने को उनका सबसे बड़ा हितैषी बता रही है वही कांग्रेस ने भाजपा और बसपा को जवाब देते हुए उभ्भा के पीडित आदिवासियों की आवाज उठाने वाले रामराज गोंड़ को ही जिलाध्यक्ष बना कर करारा जवाब दिया है। अब देखना है कि भाजपा और सपा किस बिरादरी से जिलाध्यक्ष के नाम की घोषणा करते है। बताते चले कि उभ्भा गोलीकाण्ड में रामराज के प्रार्थना पत्र ही पुलिस ने 28 नामजद और 50 अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है तो वही ग्राम प्रधान के पक्ष की तरफ से रामराज गोंड़ सहित कुल 55 नामजद और 30 से 35 अज्ञात के खिलाफ कोर्ट के आदेश पर मुकदमा दर्ज हुआ है। यह प्रश्न कांग्रेस के लिए बहुत ही कठिन साबित हो सकता है कि इतने बड़े मामले में नामजद आरोपी की कैसे जिलाध्यक्ष बना दिया है?
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