बभनी/सोनभद्र (अरुण पांडेय/विवेकानंद)
ग्राम पंचायत व न्याय पंचायत से अलग हटकर दुसरे न्याय पंचायत के अध्यापक को मिल रहा है प्रभार।
नियम विरुद्ध वित्तीय प्रभार से आ रही है भ्रष्टाचार की बू
बभनी।विकास खण्ड में इन दिनों अंग्रेजी माध्यम विद्यालयों मे अध्यापकों के पदस्थापन का मामला सुर्खियां बनी हुई है ।नियम को ताक पर रखकर मनमाने तरीकें से पदस्थापन कर विद्यालय शिक्षक विहीन हो गये है और विद्यालय एक बार फिर से शिक्षामित्रों के भरोसे हो गये है जिसे लेकर ग्रामीणों मे अच्छी खासी नाराजगी देखी जा रही है वहीं दुसरी तरफ वित्तीय प्रभार को लेकर होड़ मची हुई है यही नही ग्राम पंचायत व न्याय पंचायत से हटकर दुसरे न्याय पंचायत के अध्यापक को वित्तीय प्रभार देकर भ्रष्टाचार को बढ़ावा दिया जा रहा है लोगों का कहना है कि क्या ग्राम पंचायत मे कोई अध्यापक नही है ।यह एक यक्ष प्रश्न बन खड़ा है जबकि ग्राम पंचायत के हर विद्यालयों मे दो दो अध्यापकों की नियुक्ति है बभनी मे संचालित अंग्रेजी माध्यम विद्यालय इन दिनों अध्यापक और सम्बन्धित अधिकारियों के लिये चारागाह बन गया है इसलिए मनमाने तरीकों और नियम विरुद्ध कार्य किया जा रहा है स्थिति यह है कि इन विद्यालयों मे पदस्थापन पर पदस्थापन की प्रक्रिया अपनाई जा रही है बताते चलें कि बभनी मे कुल 15 प्राथमिक अंग्रेजी माध्यम विद्यालय और एक उच्च प्राथमिक विद्यालय संचालित है जिनमे महज पांच अध्यापक ही नियुक्त है इस स्थिति मे शासन की मंशा धराशायी होती नजर आ रही है जहाँ एक ओर सरकार नौनिहालों के भविष्य को देखते हुये विद्यालयों को सुढृढ़ करने मे लगी है वही दुसरी तरफ विभागीय अधिकारियों द्वारा भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ाया जा रहा है क्षेत्रीय ग्रामीणों ने जिलाधिकारी का ध्यान इस ओर प्रमुखता से आकृष्ट कराया है ।