
विशेषज्ञ दल ने सिंचाई विभाग की विश्व बैंक सहायतित परियोजना क्षेत्रों का किया भ्रमण।
सहभागी सिचाई प्रबंधन और फार्मस वॅाटर स्कूल की सराहना कर बताया प्रेरणास्रोत।
लखनऊ।सिंचाई विभाग उ0प्र0 की महत्वाकांक्षी विश्व बैंक सहायतित परियोजना उप्र वॉटर सेक्टर रिस्ट्रक्चरिंग प्रोजेक्ट के सराहनीय कार्यो का वाप्कोस के माध्यम से लेसेथो गणराज्य के कृषि एवं खाद्य सुरक्षा मंत्री महाला मोलायो के नेतृत्व में अध्ययन करने पधारे विशेषज्ञ दल ने आज प्रातः 10 बजे सिंचाई विभाग के मुख्यालय स्थित सभागार में प्रमुख सचिव सिंचाई जल संसाधन एवं परती भूमि विकास टी0 वेंकटेश के साथ बैंठक कर अपने अनुभवों एवं तकनीकी जानकारी को साझा किया।
प्रमुख सचिव सिंचाई एवं जल संसाधन एवं परती भूमि विकास श्री टी0 वेंकटेश ने वार्ता के दौरान बताया कि उत्तर प्रदेष का सिंचाई विभाग विश्व का प्राचीनतम् विभाग है। आपने बताया कि इसकी स्थापना स्वतंत्रता के पूर्व किसान कल्याणकारी विभाग के रूप में की गयी थी। इस विभाग द्वारा अपूर्व नहर प्रणाली का शुभारम्भ कर अपनी अलग पहचान बनायी थी। आपने बताया कि उत्तर प्रदेश का भौगोलिक क्षेत्रफल 240.93 लाख हेक्टेयर है इसमें कृशि योग्य क्षेत्रफल 188.40 लाख हेक्टेयर है जिसमें 165.73 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में खेती होती है। प्रदेश के 88.42 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में 02 फसलें बोयी जाती है। रबी एवं खरीफ में बोई जाने वाला कुल क्षेत्रफल 254.15 लाख हेक्टेयर है।

आपने यह भी बताया कि सिंचाई विभाग द्वारा सतही एवं भूगर्भ जल का उपयोग करके 74,659.57 कि0मी0 बड़ी नहरों, 28 पम्प नहरों तथा 33375 राजकीय नलकूपों एवं 250 लघुडाल नहरों व 69 जलाषयों के माध्यम से लगभग 98.88 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल में सिंचाई सुविधा उपलब्ध करायी जाती है। वेंकटेश ने प्रधानमंत्री कृशि योजना सहित विभिन्न सिंचाई परियोजनाओं (बाढ़ सुरक्षा सहित) की विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि सिंचाई विभाग में 74 हजार स्टाफ कार्यरत् है विभाग में अभी 173 महिला सिविल इंजीनियर तैनात है।
कृशि एवं खाद्य सुरक्षा मंत्री लेसेथो के साथ पधारे प्रमुख सचिव सिंचाई, निदेषक फसल सेवा, मुख्य कृशि अभियन्ता, सिंचाई अधिकारी, वरिश्ठ फसल उत्पादन अधिकारी, निदेषक लो लैण्ड वॉटर सप्लाई स्कीम, जलवायु प्रबंधन प्रबंधक सहित विष्व बैंक के टीम लीडर सहित विषेशज्ञों ने सिंचाई विभाग के मुख्य अभियन्ताओं, प्रमुख अभियन्ताओं/विषेशज्ञों से विस्तृत विचार विमर्ष किया।
प्रमुख अभियन्ता/विभागाध्यक्ष अनूप कुमार श्रीवास्तव ने सिंचाई विभाग की विभिन्न महात्वाकांक्षी योजनाओं एवं उपलब्धियों का विस्तृत व्यौरा प्रस्तुत किया। विभिन्न संचालित परियोजनाओं एवं यू0पी0डब्लू0एस0आर0पी0 की अद्यतन प्रगति का पावर पोइंट प्रेजेंटेशन मुख्य अभियन्ता, पैक्ट ए0के0 सेंगर ने किया एवं आभार प्रदर्षन टीम लीडर वाप्कोस डॉ वी0पी0 सिंह ने किया।
बैंठक के उपरान्त कृशि मंत्री लेसेथो के साथ पधारे विषेशज्ञ मण्डल ने यू0पी0डब्लू0एस0आर0पी0 द्वारा संचालित जल उपभोक्ता समितियों एवं कुलाबा स्तर पर स्थापित किसान सिंचाई विद्यालयों का भी भ्रमण कर कार्य पद्धति का अध्ययन किया। इसी क्रम में हैदरगढ ब्रांच की कान्हापुर माइनर की जल उपभोक्ता समिति के साथ पधारे विषेशज्ञ दल ने दुभाशिया के माध्यम से विस्तार से चर्चा की इस चर्चा के उपरान्त कृशि मंत्री श्री महाला मोलापों ने बताया की ये जल उपभोक्ता समितियां व किसान सिंचाई विद्यालय मेरे लिए प्रेरणा के बिन्दु हैं। कृशि मंत्री लेसेथो ने प्रमुख सचिव सिंचाई श्री टी0 वेंकटेष, प्रमुख अभियन्ता/विभागाध्यक्ष श्री ए0के0 श्रीवास्तव एवं मुख्य अभियन्ता, पैक्ट श्री ए0के0 सेंगर व टीम लीडर वाप्कोस डॉ0 वी0पी0 सिंह का हार्दिक आभार व्यक्त करते हुए अपेक्षा की इसी तरह सीखने सिखाने की परंपरा को उत्तोत्तर विकसित करते रहे।
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