इस्लामाबाद।मुंबई आतंकी हमले के मास्टरमाइंड और लश्कर-ए-तैयबा सरगना हाफिज सईद को पिछले हफ्ते पाकिस्तान में गिरफ्तार कर लिया गया। प्रधानमंत्री इमरान खान इसे अपनी सरकार की सफलता बता रहे हैं, जबकि उनके ही देश के पूर्व राजदूत ने इसे ढकोसला करार दिया। यूके में पाकिस्तान के राजदूत रहे वाजिद शमसुल हसन ने कहा कि इमरान की वॉशिंगटन यात्रा से ठीक पहले की गई यह कार्रवाई सिर्फ अमेरिका को खुश करने के लिए हुई।
एक वेबपोर्टल में छपे हसन के लेख के मुताबिक, ‘‘इमरान की अमेरिका यात्रा से ठीक पहले हाफिज की गिरफ्तारी हुई। इसे सही समय पर लिया गया निर्णय कह सकते हैं। यह ट्रम्प के आंसू पोंछने के लिए काफी है, क्योंकि अमेरिका ने उसे वैश्विक आतंकी घोषित किया है।’’
हाफिज को नौंवीं बार गिरफ्तार किया गया
वाजिद ने कहा, ‘‘जमात-उद-दावा के सरगना को नौंवीं बार गिरफ्तार किया। गिरफ्तारी के तुरंत बाद अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने ट्वीट कर इसे अपनी बड़ी सफलता बताया। अमेरिका के नजरिए से हाफिज का मामला एक बड़ा मुद्दा है और इस पर सबकी नजर भी है।’’ उन्होंने कहा कि इससे पहले भी 8 बार इस आतंकी को गिरफ्तार किया गया, लेकिन कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई।
हाफिज को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा
हाफिज सईद को टेरर फंडिंग और मनी लॉन्ड्रिंग मामले में 17 जुलाई को लाहौर से गिरफ्तार किया गया था। कोर्ट ने 24 जुलाई को उसे 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। 3 जुलाई को हाफिज समेत जमात-उद-दावा के 13 नेताओं के खिलाफ एंटी-टेररिज्म एक्ट-1997 के तहत टेरर फंडिंग और मनी-लॉन्ड्रिंग जैसे करीब दो दर्जन मामले दर्ज किए गए थे। इससे पहले इसी साल मार्च में पाक सरकार ने हाफिज के संगठनों जमात-उद-दावा और फलाह-ए-इंसानियत पर भी प्रतिबंध लगाया था।