चार सीसीटीवी कैमरे भी खराब मिले, पत्र में लिखे संदेश का नहीं हुआ खुलासा
वाराणसी।सीएम योगी आदित्यनाथ की सख्ती का अब असर दिखायी देने लगा है। अपराधियों के लिए सुरक्षित पनाहगाह बने जेल पर अब अधिकारियों ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। सोमवार को कमिश्रर व आईजी रेंज ने जिला जेल पर छापा मारा तो एक मोबाइल फोन बरामद हुआ। जिसके बाबत आवश्यक विधिक कार्रवाई करने की संस्तुति की गयी है।
कमिश्रर दीपक अग्रवाल व आईजी रेंज विजय सिंह मीना ने पुलिस बल के साथ सुबह जिला अस्पताल में छापेमारी की। कई बैरकों की सघन तलाशी ली गयी। बैरक ११ बी से एक बंदी के पास से मोबाइल मिला। मोबाइल में सिम नहीं था। अधिकारियों ने जब पूछताछ की तो पता चला कि जिस बंदी के समान से मोबाइल मिला है वह उसका नहीं है अन्य बंदी से उसके समान में मोबाइल रख दिया था। इसके बाद अधिकारियों ने बैरक में नजर रखने वाले सीसीटीवी कैमरों की जांच की। पता चला कि ४० कैमरों में चार खराब है इसके बाबत जेलर से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि इन कैमरों को बनाने का निर्देश दिया जा चुका है। शाम तक सभी कैमरे बन जायेंगे। अधिकारियों ने मॉनीटरिंग रुम में बैठ कर सीसीटीवी से सभी बैरको पर नजर रखने वाली व्यवस्था को भी जांचा। आईजी रेंज विजय सिंह मीना ने बताया कि मोबाइल रखने वाले बंदी के खिलाफ विधिक कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया है। जेल की चहारदीवारी को लेकर भी कुछ समस्या है, जिसका समाधान किया जायेगा। जैमर 3 जी मोबाइल के लिए है। 4 जी मोबाइल के लिए जैमर लगाने की योजना शासन के पास प्रस्तावित है।
*जेल में मिले पत्र पर अधिकारियों ने कुछ नहीं कहा*
सूत्रों की माने तो जेल में बंदियों के पास से कुछ पत्र मिले है। इसमे से एक पत्र में किससे कितना हिसाब लेना व देना है इसकी जानकारी दर्ज थी। अधिकारियों ने पत्र के बारे में कुछ नहीं कहा है लेकिन जेल प्रशासन के संज्ञान में यह पत्र आ गया है इसके आधार पर आगे की कार्रवाई हो सकती है।
सेंट्रल जेल पर भी हुई थी छोपमारी, खराब मिले थे दो कैमरे
जिलाधिकारी सुरेन्द्र सिंह ने 7 जुलाई की रात्रि में सेंट्रल जेल में छापा मारा था। निरीक्षण के दौरान आपत्तिजनक चीजे नहीं मिली थी लेकिन दो सीसीटीवी कैमरे खराब मिले थे जिस पर उन्हें तुरंत ठीक कराने को कहा गया था।