करमा-सोनभद्र(वरुण त्रिपाठी)। एक ही पटल पर लगातार 17 सालों से कर्मचारियों के बने रहने की शिकायत भाजपा के पूर्व जिला अध्यक्ष धर्मवीर तिवारी ने अपर मुख्य सचिव पंचायती राज से की। कहा की जिला पंचायत के अपर मुख्य अधिकारी द्वारा सरकार की छवि धूमिल की जा रही है उन्होंने कहा की खनिज परिवहन शुल्क वसूली ठेके में व्यापक अनियमितता करके संगठित सिंडिकेट बनाकर टेंडर निरस्त कर अपने चहेते ठेकेदार को परिवहन शुल्क वसूली ठेका दिया गया। धर्मवीर तिवारी ने अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह को अवगत
कराया है कि मैसर्स गीतांजलि इंटरप्राइजेज खनिज परिवहन शुल्क के निविदा में भाग लिया, जिसमें सर्वोच्च बोली दाता (एच-१) रही! जिनके द्वारा जिला पंचायत खनिज शुल्क परिवहन शुल्क वसूली हेतु 2022- 23 में विज्ञापन के अनुसार टेंडर डाला गया है जो टेंडर का टेक्निकल बीड अपर जिलाधिकारी महोदय के समक्ष खोला गया जिसमें पांच टेंडर दाता जांचोपरांत सही पाए गए! जिसके बाद फाइनेंसियल बीड खोला गया जिसमें गीता देवी सर्वोच्च बोली दाता रही! गीता देवी का सर्वोच्च टेंडर दर 14 6111111 रुपया है! जिसके उपरांत कार्यालय जिला पंचायत सोनभद्र द्वारा पत्रांक संख्या 108/जि०पं०/खनिज-ठेका/ई टेंडर/2022 -23 दिनांक 4 मई 2022 के क्रम में बिड में अपलोड किए गए अभिलेखों की मूल प्रति व छाया प्रति दिनांक 5.5.2022 के अपराहन 12:00 बजे तक जमा करने हेतु निर्देशित किया गया तत क्रम में गीता देवी द्वारा सभी मूल वो छाया प्रति अभिलेख कार्यालय में जमा कर उसकी प्राप्ति रसीद प्राप्त किया गया गीता देवी को दिनांक 5.5.2022 तक सर्तनामे के अनुसार धनराशि जमा करना था परंतु अपर मुख्य अधिकारी जिला पंचायत सोनभद्र द्वारा धनराशि जमा करने हेतु अभी तक नोटिस नहीं दिया गया ! गीता देवी को पूर्व में ही भनक या आशंका लगने पर दिनांक 6.5.2022 प्रातः जिलाधिकारी महोदय सोनभद्र से मिलकर संपूर्ण तथ्यों से अवगत कराया उन्होंने आश्वस्त भी किया कि इन परिस्थितियों में निविदा निरस्त नहीं किया जा सकता तत्पश्चात गीता देवी अपर मुख्य अधिकारी जिला पंचायत सोनभद्र से मिली तो उन्होंने बताया कि 5 निविदाताओ में से कुछ ने मूल पेपर जमा नहीं किया! अतः निविदा निरस्त कर दिया गया है! महोदय उक्त प्रकरण में अध्यक्ष महोदय जिला पंचायत सोनभद्र एवं जिला पंचायत के अधिकारियों की भूमिका संदिग्ध है ये लोग प्रारंभ में 3 ठेकेदारों का सिंडिकेट बनाकर टेंडर डलवाए थे जिनमें वर्तमान में वसूली कर रहे ठेकेदार भी सम्मिलित है, जिन्हें 31 मार्च 2022 को उनके टीके की अवधि पूर्ण होने के पश्चात भी आचार संहिता की आड़ में दिनांक 6.5.2022 रात्रि 12:00 बजे तक की अवधि बढ़ा दी गई और आगे भी भी अपर मुख्य अधिकारी द्वारा दिनांक 16.5.2022 तक के लिए पूर्व ठेकेदार की मिलीभगत से समय वृद्धि कर दी गई जो सरासर नियम विरुद्ध है!नियमत: ठीके कीअवधि समाप्त होने के बाद सरकारी वसूली की जानी चाहिए थी यहां यह तथ्य भी विशेष तौर पर उल्लेखनीय है कि पूर्व के ठेके जो वर्तमान में भी चालू है तथा गीता देवी द्वारा दी गई ठीके की राशि में रुपया 4 करोड़ से अधिक का अंतर है! उक्त प्रकरण में बड़ी मात्रा में राजस्व की हेरा-फेरी करके राजस्व की क्षति की जा रही है! उक्त के परिप्रेक्ष्य में अवगत कराना है कि उक्त निविदा को पुनः दिनांक 13.5.2022 को अंतिम तिथि निकाली गई जिसको समय 2:00 बजे टेण्डर पडना रहा तथा 3:00 बजे से टेक्निकल बिड खोला जाना था किन्तु इन लोगों द्वारा अपने चहेते तीनों फर्म जो पूर्ण के टेंडर में संगठित होकर अपना पेपर नहीं जमा किए थे उसी सिंडिकेट को साजिश के तहत परिवहन शुल्क का ठेका उसी अपने चहेते ठेकेदार को जो उच्च बोलीदाता है को दे दिया गया जो कि विभागीय अनियमितता एवं व्यापक घोटाले का परिचायक है तथा निष्पक्ष क्षेत्र के नियम विरुद्ध है उक्त क्रियाकलापों में अपर मुख्य अधिकारी जिला पंचायत सोनभद्र की मुख्य भूमिका रही है जिनके द्वारा यह सारा खेल रचा गया है उक्त प्रकरण उच्च स्तरीय जांच कर दोषी अधिकारियों एवं कर्मचारियों के विरुद्ध विभागीय जांच करते हुए कड़ी कार्यवाही करने का कष्ट करें ताकि संगठित सिंडिकेट के भ्रष्टाचार को रोका जा सके एवं सरकार की छवि बचाई जा सके! महोदय आपसे विनम्र अनुरोध है कि राजस्व हित को दृष्टिगत न्यायोचित निर्णय लेने का कष्ट करें जिससे गीता देवी को भी न्याय मिल सके!