मध्यप्रदेश
सिंगल यूज प्लास्टिक का प्रयोग रोकने पर रहेगा विशेष ज़ोर
सिगरौली।नॉर्दर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (एनसीएल) में बुधवार को ‘स्वच्छता ही सेवा’ अभियान का शुभारंभ हुआ। राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के स्वच्छ भारत के सपने को साकार करने हेतु भारत सरकार द्वारा चलाए जा रहे ‘स्वच्छ भारत मिशन’ के तहत शुरू हुए अभियान के पहले दिन एनसीएल के विभिन्न कोयला क्षेत्रों एवं इकाइयों में कंपनी अधिकारियों एवं कर्मचारियों ने स्वच्छता शपथ ली।
कंपनी मुख्यालय में आयोजित केंद्रीय कार्यक्रम में एनसीएल के अध्यक्ष-सह-प्रबंध निदेशक (सीएमडी) श्री पी॰ के॰ सिन्हा बतौर मुख्य अतिथि और निदेशक (तकनीकी/संचालन) गुणाधर पाण्डेय एवं निदेशक (वित्त एवं कार्मिक) नाग नाथ ठाकुर बतौर विशिष्ट अतिथि उपस्थित थे।
सीएमडी सिन्हा द्वारा दिए गए संदेश में एनसीएल परिवार से भारत को स्वच्छ बनाने की अपनी मुहिम को और भी विस्तार देने तथा अब तक किए गए प्रयासों को जारी रखते हुए स्वच्छता को बहुआयामी बनाए जाने की अपील की गई।
निदेशक (वित्त एवं कार्मिक) नाग नाथ ठाकुर ने कहा कि ‘स्वच्छता ही सेवा’ अभियान के दौरान कंपनी अपने स्वच्छता कार्यों को बहुआयामी बनाते हुए अब गंदगी एवं प्रदूषण के सबसे बड़े कारकों में से एक ‘सिंगल यूज प्लास्टिक’ पर वार करेगी।
अधिकारियों-कर्मचारियों ने स्वच्छता के प्रति सजग रहने, स्वच्छता को समय देने, हर सप्ताह दो घंटे श्रमदान करके स्वच्छता के संकल्प को चरितार्थ करने, गंदगी न करने एवं न किसी और को करने देने का संकल्प लिया। कार्यक्रम में एनसीएल मुख्यालय के सभी विभागों के महाप्रबंधकों, विभागाध्यक्षों सहित बड़ी संख्या में अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित थे।
कई मायनों में खास होगा ‘स्वच्छता ही सेवा’ अभियान
‘स्वच्छता ही सेवा’ अभियान के दौरान एनसीएल के सभी कार्यालयों एवं स्कूलों को प्लास्टिक फ्री जोन बनाया जाएगा। इसके लिए जहां एक ओर अब से कार्यालयीन कार्यों में सिंगल यूज प्लास्टिक का प्रयोग बंद किया जाएगा, वहीं श्रमदान कर अब तक प्रयोग किए गए प्लास्टिक का संग्रहण भी किया जाएगा। आम लोगों को भी रोजमर्रा के कार्यों में प्लास्टिक का प्रयोग नहीं करने के लिए जागरूक करने हेतु उन्हें कंपनी की ओर से कपड़े या जूट के थैले बांटे जाएंगे।
अबसे कंपनी कार्यों में सिर्फ बायो डिग्रेडेबल एवं पर्यावरण के अनुकूल कपड़े से बने बैनर ही प्रयोग किए जाएंगे। आम लोगों को सिंगल यूज प्लास्टिक का प्रयोग नहीं करने के प्रति जागरूक करने के लिए प्लास्टिक का प्रयोग नहीं करने का संदेश देने वाली रैलियां निकाली जाएंगी और नुक्कड़-नाटकों का मंचन किया जाएगा।