सोनभद्र(रवि पांडेय)सदर तहसील के विजयगढ़ परगना अंतर्गत पटवध गांव में ग्राम पंचायत द्वारा रास्ता का निर्माण कराया जा रहा है जिसे कुछ काश्तकारों द्वारा अपनी भूमि बता कर निर्माण कार्य में अवरोध डाला जा रहा है । इसकी शिकायत ग्राम प्रधान रूबी दूबे ने उपजिलाधिकारी सदर से किया । जिस पर उपजिलाधिकारी के आदेश पर 11 जून को पक्की पैमाइश के लिए नायब तहसीलदार विजयगढ़ , राजस्व निरीक्षक और क्षेत्रीय लेखपाल को नापी किया गया।
जिसमें आराजी नम्बर 94 व 105 और 131 की मेड का सीमांकन किया गया जो मोहन के घर के सामने सीसी रोड के ऊपरी सिरे से 10 मीटर उत्तर पर आराजी नम्बर 105 के दक्षिण व पश्चिम सिरे का सीमांकन चिन्हित किया गया। इस तरह अन्य आराजी नम्बरो की नापी किया गया। इस नापी के बाद भी गांव के कुछ काश्तकारों द्वारा रास्ता के निर्माण कार्य मे अवरोध उत्पन्न किया जाने लगा तो ग्राम प्रधान ने पुनः 18 जून को सम्बन्धित थाने को शान्ति व्यवस्था बनाये रखने का आदेश दिया।
जिस पर अवरोध उत्पन्न करने वाले काश्तकारों ने 3 जुलाई को तहसील दिवस में प्रार्थना पत्र देकर शिकायत किया कि विवादित भूमि की पक्की पैमाइश के लिए वाद दाखिल किया है जो विचाराधीन है। जिस पर उपजिलाधिकारी ने सम्बन्धित थाने को रास्ते का निर्माण कार्य रोकने का आदेश दिया कि विपक्षीगण को विचाराधीन आराजी नम्बर में कार्य ना करने दे। इस आदेश पर सम्बन्धित थाने की पुलिस ने निर्माण कार्य रोकवा दिया। निर्माण कार्य रोके पर ग्राम प्रधान ने 9 जुलाई को उपजिलाधिकारी को प्रार्थना पत्र देकर मौका स्थिति से वाकिफ कराया तो उपजिलाधिकारी ने सम्बन्धित थाने और राजस्व निरीक्षक को सार्वजनिक कार्य मे अवरोध उत्पन्न करने वालो को रोकने का आदेश दिया।
अब सम्बन्धित थाना पुलिस इस पसोपेश में पड़ी है कि उपजिलाधिकारी के किस आदेश का पालन किया जाय। वही ग्राम प्रधान का कहना है कि उपजिलाधिकारी द्वारा एक ही कार्य के लिए अलग अलग आदेश दिए जाने से सार्वजनिक कार्य कराने में अवरोध उत्पन्न हो गया है जिससे आमजनता को रास्ता नही बनने से बरसात में काफी दिक्कतों का सामान करना पड़ सकता है।
वही इस मामले पर उपजिलाधिकारी शादाब असलम का कहना है कि प्रर्थना पत्र के आधार पर ही सम्बन्धितों को कोई आदेश निर्देश दिया जाता है अगर सार्वजनिक कार्य है तो किसी को अवरोध उत्पन्न नही करने दिया जाएगा।