नई दिल्ली। दिल्ली में रविवार को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की बैठक पार्लियामेंट के लाइब्रेरी बिल्डिंग में हुई। बैठक में NDA के सभी घटक दल शामिल हुए। बैठक में कई मुद्दों पर चर्चा हुई जिसमे महाराष्ट्र सरकार निर्माण का मुद्दा सबसे अहम रहा। महाराष्ट्र में राजनीतिक उलटफेर का असर इस बैठक में भी साफ-साफ दिखा, जहां पीएम नरेंद्र मोदी ने सहयोगियों से छोटे मतभेदों को दूर करने के लिए कहा. इस दौरान उन्होंने राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के विशाल परिवार पर जोर देते हुए कहा कि हमें लोगों के लिए एक साथ मिलकर काम करना चाहिए।
पीएम मोदी ने कहा कि हमें एक विशाल जनादेश मिला है, आइए इसका सम्मान करें. मोदी ने शिवसेना का नाम लिए बिना कहा कि समान विचारधारा के न होने के बाद भी हम समान विचारधारा वाले दल हैं. हमें छोटे-मोटी दूरियों को नजरअंदाज करनी चाहिए. उन्होंने कहा कि बेहतर समन्वय के लिए एक समन्वय समिति बनाई जानी चाहिए।
लोक जन शक्ति पार्टी के नवनियुक्त प्रमुख चिराग पासवान ने कहा कि संसद के शीतकालीन सत्र से पहले एनडीए की बैठक के बाद मीडिया से कहा कि बैठक में शिवसेना की गैरमौजूदगी को महसूस किया गया, क्योंकि यह सबसे पुराने राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के सदस्य थे. उन्होंने कहा कि सहयोगियों के बीच बेहतर समन्वय होना चाहिए और एक एनडीए संयोजक नियुक्त किया जाना चाहिए।
उन्होंने आगे कहा कि यह चिंता की बात है कि तेलुगु देशम पार्टी ने पहले ही गठबंधन छोड़ दिया और फिर राष्ट्रीय लोक समता पार्टी ने किया. हम सभी (सहयोगी) आगामी सत्र में एक साथ काम करेंगे और इस तरह की और बैठक होती रहनी चाहिए. उन्होंने आगे कहा कि हमने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से एनडीए कोर्डिनेशन कमेटी बनाने की मांग की है।
वहीं, केंद्रीय मंत्री और रिपब्लिक पार्टी ऑफ इंडिया के प्रमुख रामदास अठावले ने महाराष्ट्र में सरकार निर्माण को लेकर बीजेपी राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह से मध्यस्थता करने की गुजारिश की. उन्होंने कहा कि अगर अमित शाह इस मामले में मध्यस्थता करते हैं तो कोई ना कोई रास्ता निकल सकता है. रामदास अठावले को जवाब देते हुए अमित शाह ने कहा कि चिंता मत करो. सब ठीक हो जाएगा. महाराष्ट्र में बीजेपी-शिवसेना की ही सरकार बनेगी. सरकार बनाने को लेकर शिवसेना बीजेपी के साथ आएगी।
इस बीच भाजपा संसदीय दल की कार्यकारिणी की मीटिंग में प्रधानमंत्री मोदी ने बीजेपी के सांसदों से सदन में अच्छी उपस्थिति सुनिश्चित करने को कहा है. उन्होंने सांसदों से सदन में मुद्दों को उठाने और केंद्र सरकार की योजनाओं को नागरिकों तक पहुंचाने में मदद करने को कहा. वहीं, दिल्ली में आज हुई सर्वदलीय बैठक में पीएम मोदी ने भाग लिया. इसके बाद संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने मीडिया से कहा, 27 दलों की बैठक में पीएम मोदी ने कहा कि सदन का सबसे महत्वपूर्ण काम चर्चा और बहस करना है।
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने शनिवार को सभी राजनीतिक दलों से सदन के सुचारू संचालन के लिए सहयोग की अपील की थी।. उन्होंने कहा था कि विभिन्न दलों के नेताओं ने विभिन्न मुद्दों का उल्लेख किया है जो कि 18 नवंबर से 13 दिसंबर तक चलने वाले शीतकालीन सत्र के दौरान चर्चा किए जाने की कामना करते हैं।सौजन्य से पलपल इंडिया।