ट्रम्प के फैसलों के बावजूद अमेरिका बढ़ रहा है शून्य उत्सर्जन की ओर
पिछले 4 वर्षों के दौरान डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन के पर्यावरण संबंधी कई समझौतों से अलग होने के बावजूद अमेरिका इससे होने वाले नुकसान की सफलतापूर्वक भरपाई करने में कामयाब रहा है। ऐसा होने से अमेरिका के लिए वर्ष 2050 तक शून्य शुद्ध उत्सर्जन वाला देश बनने की संभावनाएं जिंदा हैं, बशर्ते वर्ष 2021 में जलवायु संबंधी पुरजोर संघीय योगदान को संभव बनाया जा सके। ‘अमेरिकाज़ प्लेज‘ के चौथे अध्ययन में यह तथ्य सामने आया है। पूर्व गवर्नर एडमंड जी ब्राउन जूनियर और ब्लूमबर्ग एलपी एंड ब्लूमबर्ग फिलैंथरोपीज ऑफिस के संस्थापक माइकल आर. ब्लूमबर्ग ने आज इस अध्ययन की रिपोर्ट का विमोचन किया। ‘डिलीवरिंग ऑन अमेरिकाज़ प्लेज : अचीविंग क्लाइमेट प्रोग्रेस इन 2020‘ शीर्षक वाली इस अध्ययन रिपोर्ट में भविष्य की जलवायु तथा ऊर्जा संबंधी हमारे नजरिए पर कोविड-19 महामारी के पड़ने वाले असर का विश्लेषण किया गया है। इसके अलावा पिछले तीन साल के दौरान अमेरिका के राज्यों, शहरों तथा कारोबार में जलवायु संबंधी कार्यक्रमों की प्रगति का आकलन भी किया गया है। ‘वी आर स्टिल इन टू डिलीवर ऑन अमेरिकाज़ प्लेज : अ रेट्रोस्पेक्टिव‘ शीर्षक से इस आकलन को ‘वी आर स्टिल इन‘ के सहयोग से प्रकाशित किया गया है।
ब्लूमबर्ग एलपी और ब्लूमबर्ग फिलैंथरोपीज के संस्थापक, अमेरिकाज़ प्लेज के मौजूदा अध्यक्ष और न्यूयार्क सिटी के तीन बार मेयर रह चुके माइकल ब्लूमबर्ग ने कहा “अमेरिकाज़ प्लेज की ताजा रिपोर्ट यह जाहिर करती है कि राष्ट्रपति ट्रंप द्वारा पेरिस समझौते से अलग होने के फैसले और पिछले चार साल के दौरान अमेरिकी सरकार के जलवायु परिवर्तन संबंधी अनेक समझौतों से अलग होने के बावजूद अमेरिका के राज्यों, नगरों और कारोबारी इकाइयों ने मिलजुल कर काम करते हुए पर्यावरण संरक्षण की दिशा में प्रगति का सिलसिला जारी रखा है। मगर रिपोर्ट यह भी बताती है कि हम व्हाइट हाउस के नेतृत्व में और अधिक तेजी से कहीं ज्यादा काम कर सकते हैं। यही वजह है कि नवंबर में देश में होने वाला राष्ट्रपति का चुनाव जलवायु परिवर्तन के खिलाफ लड़ाई के लिहाज से भी सबसे महत्वपूर्ण साबित होने जा रहा है।”
अमेरिकाज़ प्लेज के सह अध्यक्ष और कैलीफोर्निया के पूर्व गवर्नर जेरी ब्राउन ने कहा “पश्चिमी अमेरिका के हिस्सों में भड़की अभूतपूर्व आग और राष्ट्रपति ट्रम्पक के जलवायु संरक्षण संबंधी समझौतों से इनकार के बीच अमेरिकाज़ प्लेज हमें एक रास्ता दिखाता है। अमेरिका के विभिन्न राज्य, शहर और कारोबारी इकाइयां पर्यावरण संरक्षण की दिशा में काम करने के साथ-साथ चेतावनी भी जारी कर रही हैं। हमारे भविष्य पर ग्रहण लगा रहे नुकसानदेह कार्बन उत्सर्जन को रोकने से ज्यादा महत्वपूर्ण काम और कुछ नहीं हो सकता।”
यहां तक कि कोविड-19 महामारी और आर्थिक मंदी के बावजूद अमेरिका के राज्यों, नगरों और कारोबारी इकाइयों द्वारा जलवायु संरक्षण के लिए किए जा रहे कार्यों की प्रगति को धीमा नहीं होने दिया। इस साल का अध्ययन यह जाहिर करता है कि कोविड-19 महामारी और मंदी की चुनौतियों के बावजूद अमेरिका अक्षय ऊर्जा रूपांतरण के मामले में एक अपरिवर्तनीय टिपिंग प्वाइंट पर पहुंचने में सफल रहा है। अमेरिकी राज्यों के प्रशासन तथा स्थानीय नेताओं द्वारा उठाये गए अभूतपूर्व और साहसिक कदमों, बाजार की शक्तियों में निर्णायक बदलाव और जनता की भारी मांग की वजह से ऐसा हो सका।
डिलीवरिंग ऑन अमेरिकाज़ प्लेज : अचीविंग क्लाइमेट प्रोग्रेस इन 2020 रिपोर्ट उन रास्तों का भी जिक्र करती है जिनके तहत क्षेत्र विशेष संबंधी निवेशों से युक्त कोविड रिकवरी पैकेज से ऐसी मजबूत अर्थव्यवस्था बनाई जा सकती है जिसमें रोजगार के अधिक अवसर होने के साथ-साथ अमेरिका के लोगों को साफ हवा और सस्ती ऊर्जा मिल सके। इन क्षेत्र विशेष निवेशों में ग्रिड का आधुनिकीकरण, बिजली का ट्रांजिट, बिल्कुल भी प्रदूषण न छोड़ने वाली इमारतें, एंड-ऑफ-लाइफ-रेफ्रिजरें
अध्ययन में इस बात पर जोर दिया गया है कि सकारात्मक कार्य प्रगति और बाजार से मिल रहे संकेतों के बावजूद संघीय सरकार और गैर संघीय प्रशासनिक इकाइयों की तरफ से एक समन्वित और मजबूत प्रयास करना अभी बाकी है ताकि उन लक्ष्यों के लिए जरूरी स्वच्छ समाधान को वांछित रफ्तार और पैमाने पर लागू किया जाए जिन्हें वैज्ञानिकों ने जलवायु परिवर्तन के बदतर प्रभावों को टालने के लिए जरूरी बताया है।
अन्य तथ्यों के अलावा इस अध्ययन के मुख्य बिंदु इस प्रकार हैं
• पिछले 3 वर्षों के दौरान संघीय सरकार के विरोध के बावजूद अमेरिका के गैर संघीय नेताओं ने जलवायु परिवर्तन को रोकने के लिए क्षेत्रवार प्रयासों को दोगुना कर दिया है, जिसकी वजह से देश में प्रदूषणकारी तत्वों के उत्सर्जन में कमी लाने में मदद मिली है। इस वक्त हर तीन में से एक अमेरिकी नागरिक 100% स्वच्छ बिजली की इच्छा रखने वाले समाज में जीता है। तीन साल पहले सिर्फ हवाई और 33 अन्य शहरों ने 100% स्वच्छ ऊर्जा के प्रति अपनी संकल्पबद्धता जताई थी। अमेरिका के 16 राज्यों में सम्भा।वित ग्रीन हाउस गैस एचएफसी के इस्तेमाल को चरणबद्ध ढंग से कम करने के नियम-कानून या तो पारित किए हैं या फिर पारित करने का संकल्प किया है। पिछले तीन वर्षों के दौरान इलेक्ट्रिक वाहनों का बाजार भी दोगुना हो गया है।
• कोविड-19 वैश्विक महामारी और आर्थिक मंदी ने जलवायु परिवर्तन को नियंत्रित करने के प्रयासों पर कोई विपरीत असर नहीं डाला है। अमेरिकाज़ प्लेज ने पांच ऐसे प्रमुख क्षेत्रों की पहचान की है जिनमें वर्ष 2030 तक प्रदूषणकारी तत्वों के उत्सर्जन में भारी कमी लाने की संभावना है। इन क्षेत्रों में बिजली, परिवहन, निर्माण, मीथेन और एचएफसी शामिल हैं। वर्ष 2030 तक उत्सर्जन में कमी लाने की महत्वाकांक्षा पूरी करने में इन क्षेत्रों की क्षमता को लेकर विश्वास में बढ़ोत्तहरी हुई है। इसमें निर्माण क्षेत्र एक अपवाद है, जिसमें विश्वास का भाव बिल्कुल नहीं बदला है।
• अमेरिका 100% प्रदूषण रहित बिजली उत्पादन की तरफ कदम बढ़ा रहा है। प्रदूषण रहित ऊर्जा के मजबूत मूलभूत आर्थिक तत्वों की वजह से ऊर्जा का उत्पादन कोयले से हटकर अक्षय माध्यमों की तरफ लगातार रुख कर रहा है जो यह जाहिर करता है कि हमने ऊर्जा रूपांतरण के टिपिंग पॉइंट को पार कर लिया है। हालांकि कोविड-19 महामारी और आर्थिक मंदी ने अक्षय ऊर्जा की कुछ परियोजनाओं और ऐसी ऊर्जा से संबंधित कानूनों के क्रियान्वयन की रफ्तार कुछ धीमी कर दी है, मगर राज्यों, नगरों और कारोबारी इकाइयों द्वारा उठाए जा रहे नए कदमों और जताए जा रहे संकल्पों से इस बात की संभावना है कि आने वाले दशक में यह अभियान तेजी से जारी रहेगा।
• परिवहन के क्षेत्र में मध्यम और हैवी ड्यूटी इलेक्ट्रिक वाहनों के मामले में तेजी से हो रही तरक्की और यातायात में दीर्घकालिक कमी की संभावना के मद्देनजर ऐसी उम्मीद है कि इससे मौजूदा नकारात्मक जन परिवहन रुझान बेअसर हो जाएंगे। कोविड-19 महामारी के बाद अमेरिका अब ‘न्यू नॉरमल’ से तालमेल बैठा रहा है और रिमोट वर्किंग तथा ई-कॉमर्स के कारण व्यवहार में हो रहे बदलावों के चलते अमेरिका में यात्रियों द्वारा किए जाने वाले सफर में 10% तक की स्थाई कमी हो सकती है। इसके अलावा राज्यों ने ऐसे लक्ष्यों का ऐलान किया है जिनसे मध्यम तथा हैवी ड्यूटी वाहनों से होने वाले प्रदूषणकारी तत्वों के उत्सर्जन में तेजी से कमी होगी। इसके अलावा लाइट ड्यूटी एमिशंस रूल्स, प्रदूषण रहित वाहन मानक तथा इलेक्ट्रिक वाहनों की बिक्री के स्तलर पिछले वर्ष के विश्लेषण के अनुमानों के बराबर साबित हो रहे हैं। जन परिवहन एजेंसियों को यात्रियों तथा वाहन चालकों की सुरक्षा का ख्याल करते हुए अपनी सेवा को बहाल और व्यवस्थित रखने के लिए आगामी आर्थिक क्षतिपूर्ति और प्रोत्साहन पैकेज में उल्लेखनीय सहयोग की जरूरत पड़ेगी।
• मीथेन गैस के उत्सर्जन के लिए मुख्य रूप से जिम्मेदार माने जाने वाले तेल एवं गैस उद्योग को हाल में कीमतों के मोर्चे पर लगे झटकों और मांग में दीर्घकालिक गिरावट के अंदेशों का सामना करना पड़ रहा है। निकट अवधि के मूल्य संबंधी झटकों और वाहनों के विद्युतीकरण के बढ़ते नीतिगत तथा औद्योगिक समर्थन के परिणामस्वरूप मांग, उत्पादन और निवेश में उल्लेखनीय गिरावट आई है। अगर यह सिलसिला जारी रहा तो नए स्रोतों से मीथेन गैस के उत्सर्जन में खासी गिरावट आएगी। प्रमुख जोखिम और अनिश्चितताएं बनी हुई हैं क्योंकि नियामक रुझान पैच वर्क जारी रखे हुए हैं और मौजूदा स्रोतों से उत्सर्जन में बढ़ोत्त री नजर आ रही है। खासतौर से बेकार पड़े कुओं से।
• हाल के रुझानों से ऊर्जा उपयोग के निर्माण पर कोई उल्लेखनीय दीर्घकालिक प्रभाव पड़ने की संभावना नहीं है। कुछ क्षेत्राधिकारों में महामारी के कारण पैदा हुई आर्थिक मुश्किलों को दूर करने के लिए दक्षता के क्षेत्र में निवेश को बढ़ाया जा रहा है। अन्य क्षेत्राधिकारों में कोविड-19 और आर्थिक मंदी ने कार्यक्रमों के क्रियान्वयन, वित्तीय निवेश और नीतियों के लागू करने पर रोक लगा दी है। नई और मौजूदा इमारतों के विद्युतीकरण की कोशिशें लगातार बढ़ रही हैं। हालांकि कुछ राज्यों में विद्युतीकरण की नीतियों को राजनीतिक रुकावटों का सामना करना पड़ा है।
• राज्य और व्यावसायिक इकाइयां अत्यधिक प्रदूषणकारी हाइड्रोफ्लोरोकार्बन (एचएफसी) में कटौती कर रही हैं। अब तक 16 राज्यों ने एचएफसी नीतियों को पारित किया जाना प्रस्तावित किया है। व्यावसायिक इकाइयां जलवायु के अनुकूल रेफ्रिजरेशन और एयर कंडीशनिंग समाधानों में निवेश कर रही हैं और उद्योग ऐसे संघीय कानून पर जोर दे रहे हैं जिसमें उच्च ग्लोबल वार्मिंग पैदा करने वाली एचएफसी के इस्तेमाल को चरणबद्ध ढंग से खत्म करने की व्यवस्था हो। ऐसी संभावना है कि इन रुझानों से संघीय सरकार के स्तर पर हालिया नियामक रोलबैक का नकारात्मक प्रभाव बेअसर हो जाएगा और इसके नतीजे में एचएफसी उत्सर्जन में कमी आएगी जो एक साल पहले जताई गई महत्वाकांक्षी उम्मीदों से ज्यादा होगी।
मौजूदा राजनीतिक हालात में जलवायु परिवर्तन संबंधी संकट एक अनोखी भूमिका निभा रहा है। हम एक वैश्विक महामारी से लड़ रहे हैं और नस्ली न्याय के लिए जद्दोजहद के साथ-साथ व्यापक आर्थिक मंदी का सामना कर रहे हैं। ऐसे में जनता इन चुनौतियों से निपटने में मदद के लिए जलवायु परिवर्तन संबंधी कार्यवाही की जरूरत को लगातार बढ़ती शिद्दत से देख रही है। अमेरिका के इतिहास में पहली बार मतदाताओं के बीच शीर्ष स्तरीय मुद्दे के रूप में देखे जा रहे जलवायु परिवर्तन के मसले ने एक व्यापक आंदोलन का रूप ले लिया है। इससे ग्रीन न्यू डील कानून की लोकप्रियता बढ़ी है, नई पीढ़ी को प्रेरणा मिल रही है और कोविड-19 से उबरने के हरित, समानतापूर्ण और न्याय पूर्ण रास्ते अपनाने की मांग हो रही है।
अमेरिकाज़ प्लेज ने संपूर्ण अमेरिकी उत्सर्जन प्रक्षेप वक्र पर गैर संघीय कार्रवाई के असर के आधार पर ग्राउंड ब्रेकिंग आकलन किया है। अमेरिकाज़ प्लेज ने पिछली रिपोर्टों में एक नई कार्यप्रणाली का बीड़ा उठाया जिसने हर संघीय प्रतिबद्धताओं को एकत्र किया और उन्हें विश्व स्तर पर अग्रणी मॉडलिंग रणनीति के तौर पर एकजुट किया है। यह शहरों, व्यवसायों और सभी 50 राज्यों के उन विभिन्न कार्यों के ठोस मूल्यांकन का मौका देता है जो बाजार की सभी शक्तियों और वैश्विक अर्थव्यवस्था से जुड़े हैं। बॉटम-अप से जलवायु परिवर्तन संबंधी कार्रवाई के मूल्यांकन के इस दृष्टिकोण ने अमेरिकाज़ प्लेज को अमेरिका में उत्सर्जन की गतिविधियों को लेकर मौजूदा प्रतिबद्धताओं और संभावित कार्रवाइयों का अब तक का सबसे विस्तृत विश्लेषण करने का मौका दिया है।
अतिरिक्त उद्धरण :
संयुक्त राष्ट्र जलवायु परिवर्तन अधिशासी सचिव पेट्रिशिया एस्पिनोसा ने कहा “समावेशी बहुपक्षवाद की अपनी नीति के जरिए यूएन क्लाइमेट चेंज ने शहरों, समुदायों, निवेशकों, नि
कैलिफोर्निया एयर रिसोर्सेज बोर्ड की अध्यक्ष और अमेरिकाज़ प्लेज की उपाध्यक्ष मैरी डी निकल्स ने कहा ‘‘आर्थिक अनिश्चितता और जानलेवा महामारी के सामने भी जलवायु संबंधी संकट कम नहीं हो रहा है। हम रिकॉर्ड तोड़ गर्मी और पश्चिमी अमेरिका में लगातार फैलती जंगलों की आग तथा सूखे के रूप में इन प्रभावों की तपिश महसूस कर रहे हैं। कैलिफोर्निया कई अन्य राज्यों के साथ मिलकर जलवायु समाधानों को आगे बढ़ा रहा है। यह समाधान आर्थिक क्षेत्रों में काम करते हैं और जन स्वास्थ्य से जुड़े होने के साथ-साथ हमारे देश के स्वच्छ और स्वस्थ भविष्य के रास्ते दिखाते हैं। यही वजह है कि अमेरिकाज़ प्लेज के उपाध्यक्ष के रूप में मैं उत्साहित हूं कि इस साल के नतीजे हमें बताते हैं कि किस तरह से राज्यों के सतत प्रयासों और संघीय पुनर्जुड़ाव के साथ अमेरिका जलवायु नीति के साथ आर्थिक स्टिमुलस को जोड़कर विज्ञान की मांगों पर आधारित लक्ष्यों को ध्यान में रखते हुए प्रदूषणकारी तत्वों के उत्सर्जन में कमी ला सकता है।
लॉस एंजेलिस के मेयर एरिक गाचेटी ने कहा ” इसके जरिए हम सभी लोग जलवायु संबंधी संकट का रुख मोड़ देंगे लेकिन हम इसके लिए वॉशिंगटन के सहयोग का इंतजार नहीं करेंगे। अमेरिकाज़ प्लेज की रिपोर्ट हमें यह याद दिलाती है कि हम हाथ पर हाथ रखकर बैठने या देर करने के परिणामों को सहन नहीं कर सकते। शहरों, कारोबारी इकाइयों, युवाओं और आम नागरिकों को बदलाव लाने के अपने अभियान को जारी रखना चाहिए ताकि हम स्वतंत्रता और समानता पूर्ण भविष्य कि फिर से परिकल्पना कर सकें।”
चार्लोट के मेयर वाय लाइल्स ने कहा “जलवायु परिवर्तन से निपटने के हमारे प्रयासों में चार्लोट लगातार अग्रणी भूमिका निभा रहा है। अपने बेड़े के विद्युतीकरण से लेकर सौर ऊर्जा में निवेश और ऐसे शहर का निर्माण करने तक, जहां हमारे सभी नागरिकों के लिए पैदल चलने, बाइकिंग करने और जन परिवहन के विकल्प मौजूद हों। हम जलवायु परिवर्तन के मसले को अगली पीढ़ी पर नहीं छोड़ सकते और करीब 10 लाख लोगों के शहर का मेयर होने के नाते हमें कदम उठाने ही होंगे। चार्लोट को अपना घर कहने वाले लोगों की सेहत और उनकी आबोहवा की हिफाजत के लिए यह बहुत जरूरी है।”
ब्रिटेन में यूएन हाई लेवल क्लाइमेट चैंपियन नाइजेल टॉपिंग ने कहा “मैं इस साल के अमेरिकाज़ प्लेज विश्लेषण का स्वागत करता हूं जो हमें यह दिखाता है कि अमेरिका के विभिन्न राज्य, शहर और कारोबार किस तरह से जलवायु परिवर्तन के मोर्चे पर आगे बढ़ रहे हैं। यह गतिशीलता अब से पहले कभी इतनी ज्यादा महत्वपूर्ण नहीं थी। हमारे पास प्रदूषणकारी तत्वों के उत्सर्जन में कम से कम 50 फीसद की कटौती करने के लिए एक दशक का समय है और हम सभी को अपनी-अपनी भूमिका निभानी होगी। हम सभी लोगों के लिए जलवायु के लिहाज से सुरक्षित और भरोसेमंद भविष्य सुनिश्चित करने की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। इसके लिए हम गवर्नर्स, मेयर्स, कारोबारियों तथा योगदान देने वाले सभी लोगों का शुक्रिया अदा करते हैं।”
रॉकी माउंटेन इंस्टिट्यूट के सीईओ जूल्स कॉटेनहॉस्ट ने कहा “अमेरिकाज़ प्लेज ने हमें दिखाया है कि जलवायु संबंधी बॉटम-अप नेतृत्व ने संघीय नेतृत्व की बेरुखी के बावजूद जलवायु के संकट कोविड-19 और आर्थिक मंदी से निपटने की दिशा में बेमिसाल तरक्की हासिल की है। इनकी जितनी तारीफ की जाए, कम है। हम यह भी मानते हैं कि बचे हुए वक्त में जलवायु परिवर्तन के संकट से निपटने के लिए किए जा रहे प्रयासों को और बढ़ाने और उनका दायरा व्यापक करने की जरूरत है। साथ ही संघीय नेतृत्व को अमेरिका के बाकी लोगों के संयुक्त प्रयास के साथ जुड़ना चाहिए। हम इसके लिए तैयार हैं।’’
अमेरिकाज़ प्लेज के बारे में
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा जून 2017 में अमेरिका को पेरिस समझौते से अलग करने की योजना संबंधी शुरुआती घोषणा के बाद अभूतपूर्व संख्या में अमेरिका के विभिन्न राज्यों, नगरों, कारोबारियों और विश्वविद्यालयों ने पेरिस समझौते में निर्धारित लक्ष्यों को हासिल करने में अमेरिका की मदद करने की अपनी संकल्पबद्धता दोहराई। संघीय नेतृत्व की गैरमौजूदगी में इन बॉटम-अप नेतृत्वकर्ताओं ने ‘वी आर स्टिल इन’ जैसी घोषणाओं और नई प्रतिज्ञाओं तथा खुद ही व्यक्त किए गए संकल्पों के जरिए जलवायु परिवर्तन से निपटने की अमेरिकी कोशिशों की रफ्तार को बनाए रखा। संयुक्त राष्ट्र महासचिव के क्लाइमेट एक्शन संबंधी विशेष राजनयिक और न्यूयार्क सिटी के तीन बार में रह चुके माइकल ब्लूमबर्ग और कैलीफोर्निया के पूर्व गवर्नर एडमंड जी ब्राउन ने जुलाई 2017 में अमेरिकाज़ प्लेज की शुरुआत की। इसका मकसद अमेरिकी राज्यों शहरों कारोबारी इकाइयों तथा अन्य गैर संघीय पक्षों द्वारा पेरिस समझौते में निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप अपने यहां ग्रीन हाउस गैसों के उत्सर्जन में कमी लाने की कोशिशों का मात्रात्मक आकलन करना है। अपनी शुरुआत के बाद से अमेरिकाज़ प्लेज ने गैर संघीय पक्षों द्वारा ग्रीन हाउस गैसों के उत्सर्जन में कमी लाने के लिए की जा रही कोशिशों के सालाना आकलन प्रकाशित किए हैं। इन आकलनों के लिए जलवायु संबंधी अनुसंधानकर्ताओं और नीति विशेषज्ञ द्वारा विकसित की गई अनूठी प्रणाली का इस्तेमाल किया जाता है।