सोनभद्र।युवा अधिवक्ता अनिल मौर्य ने बताया कि आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 के अंतर्गत संपूर्ण भारत में तेजी से फैल रहे महामारी कोरोना के संक्रमण से बचाव हेतु लाक डाउन लगाया गया है क्योंकि कोरोना वायरस इंसानों के संपर्क से एक से दूसरे में तेजी से फैलने वाला संक्रामक रोग है
जिसे विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा भी महामारी घोषित किया जा चुका है वहीं संपूर्ण भारत में इससे बचाव के लिए 21 दिन का लाक डाउन लगाया गया है और सोशल डिस्टेंस का अनुपालन करने हेतु निर्देशित किया गया है लेकिन प्रशासन के सख्ती के बावजूद भी कुछ लापरवाह गैर जिम्मेदार लोग बिना किसी ठोस कारण के ही अनावश्यक रूप से घर से बाहर निकल रहे हैं सँगठित हो जा रहे हैं जिससे महामारी के फैलने का खतरा बना हुआ है और ऐसे बेपरवाह लोगों की वजह से ही देश में संक्रमित लोगों की संख्या में इजाफा हो रहा है ऐसे लोगों के लिए कानून में कड़े प्रावधान हैं भारतीय दंड विधान की धारा 188,269,270,271 में दंड के प्रावधान हैं जिसके तहत 2 वर्ष का कारावास व जुर्माना हो सकता है साथ ही आपदा प्रबंधन अधिनियम की धारा 51 के अंतर्गत जो कोई केंद्रीय सरकार या राज्य सरकार या जिला प्राधिकारी द्वारा प्राधिकृत किसी व्यक्ति के लिए इस अधिनियम के अधीन उसके कृत्यों के निर्वहन में बाधा डालेगा या किसी निर्देश का पालन करने से इनकार करेगा उसे दोषसिद्धि पर 1 वर्ष का कारावास व जुर्माना हो सकता है साथ ही उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय सुरक्षा कानून(रासुका)1980 के तहत भी अगर सरकार को लगता है कि कोई व्यक्ति उसे देश की सुरक्षा सुनिश्चित करने वाले कार्यों को करने से रोक रहा है या कोई व्यक्ति कानून व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने में उसके सामने बाधा खड़ा कर रहा है तो उसे गिरफ्तार करने का आदेश दे सकती है साथ ही लगे कि वह व्यक्ति आवश्यक सेवा की आपूर्ति में बाधा बन रहा है तो भी उसकी गिरफ्तारी का आदेश दे सकती है राष्ट्रीय सुरक्षा कानून अधिनियम (रासुका) के तहत जमाखोरों की भी गिरफ्तारी की जा सकती है इस कानून का उपयोग जिलाधिकारी पुलिस, आयुक्त एवं राज्य सरकार सीमित दायरे में कर सकती है विदेशियों की भी गिरफ्तारी इस अधिनियम के अंतर्गत हो सकती है किसी भी व्यक्ति की गिरफ्तारी अधिनियम के उल्लंघन होने पर कम से कम 3 महीने व अधिकतम 1 वर्ष तक हो सकती है इसलिए सबसे निवेदन है कि सब लोग लाक डाउन को ध्यान में रखते हुए सोशल डिस्टेंस का पालन करें और आपातकाल की परिस्थितियों को छोड़कर अपने घर में ही रहे और घर से बाहर ना निकलें ।